13.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

उद्योग में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर राष्ट्रीय कार्यशाला

दुर्गापुर : उद्योग में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर राष्ट्रीय कार्यशाला 4.0 का शुभारंभ सीएसआइआर–सीएमईआरआइ, दुर्गापुर में गुरुवार को हुआ. कार्यशाला का उद्घाटन सीएसआईआर-सीएमईआरआई, दुर्गापुर के निदेशक प्रो (डॉ.) हरीश हिरानी और इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस, बेंगलुरु के प्रोफेसर बी. गुरुमूर्ति ने किया. इस मौके पर 31 संगठनों के 109 प्रतिभागियों सहित देश भर के 13 शिक्षा […]

दुर्गापुर : उद्योग में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर राष्ट्रीय कार्यशाला 4.0 का शुभारंभ सीएसआइआर–सीएमईआरआइ, दुर्गापुर में गुरुवार को हुआ. कार्यशाला का उद्घाटन सीएसआईआर-सीएमईआरआई, दुर्गापुर के निदेशक प्रो (डॉ.) हरीश हिरानी और इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस, बेंगलुरु के प्रोफेसर बी. गुरुमूर्ति ने किया.

इस मौके पर 31 संगठनों के 109 प्रतिभागियों सहित देश भर के 13 शिक्षा संकायों ने हिस्सा लिया. अपने उद्घाटन भाषण में प्रो. (डॉ.) हरीश हिरानी ने कहा कि एआइ के अनुप्रयोगों की भीड़ के दायरे में एक व्यापक स्पेक्ट्रम और रक्षा बुनियादी ढांचे से लेकर चिकित्सा समाधान तक है. एआई की मुख्य विशेषताएं रियल-टाइम डेटा एनालिसिस, प्रिडिक्टिव डिसीजन-मेकिंग और मैमथ वॉल्यूम ऑफ डेटा माइनिंग हैं.

चूंकि औद्योगिक क्रांति की अगली पीढ़ी मुख्य रूप से डेटा-संचालित विश्लेषण पर ध्यान केंद्रित करती है, इसलिए यह अत्यंत महत्वपूर्ण है कि इस राष्ट्र के पास कार्य करने के लिए ज्ञान का एक ध्वनि डेटाबेस है. इस प्रकार आर एंड डी विफलताओं को एसएंडटी चिकित्सकों के लिए एक कदम के रूप में लिया जाना चाहिए, जिससे प्रत्येक असफल कदम बिरादरी के लिए एक लर्निंग कर्व है. हम भारतीयों को अपनी विफलताओं के माध्यम से वृद्धिशील पूर्णता प्राप्त करने का प्रयास करना चाहिए और इस तरह एक व्यापक ज्ञान डोमेन की ओर लगातार लक्ष्य रखना चाहिए.

डॉ. हिरानी ने यह भी बताया कि ज्ञान आज के परिदृश्य में सबसे मूल्यवान मुद्रा है. और यह संस्थान गहन ज्ञान प्राप्त करने के लिए ‘डीप लर्निंग’ प्राप्त करने की दिशा में प्रयास करता है. ग्लोबल कम्युनिकेशंस इन्फ्रास्ट्रक्चर का झुकाव इज़ाएसन डिमटेरियलाइज़ेशन ’की ओर तेजी से हो रहा है, जिससे भौतिक बाधाएँ पार हो जाएंगी और क्लाउड स्टोरेज रियल-टाइम प्रोसेसिंग और तात्कालिक जटिल निर्णय-निर्माण की प्राप्ति के लिए जासूसी करेगा.
कार्रवाई का ऐसा समग्र पाठ्यक्रम अंततः उद्योग 4.0 के लिए ठोस नींव को जन्म देगा. मौके पर उपस्थित प्रोफेसर बी. गुरुमूर्ति, प्रोफेसर, इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस, बैंगलोर ने बताया कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एंड स्टैटिस्टिक्स बहुत हद तक अन्योन्याश्रित हैं. तेजी से गति प्राप्त करने की तकनीक के साथ, पुरानी समस्याओं को हल करने के लिए नए रास्ते खुल गए हैं. इस तरह की प्रौद्योगिकियां वैश्विक औद्योगिक परिदृश्य में क्रांति लाने की क्षमता रखती हैं.
इसके अलावा, औद्योगिक संवर्द्धन, एआई भी हमें विश्लेषणात्मक डेटा की एक सरणी प्रदान करके मानव निर्णय लेने की क्षमता को बदलने की कुंजी रखता है, जो पहले या तो बोझिल था या समय लेने वाली थी. उद्घाटन समारोह के बाद प्रतिभागियों, डॉ. हिरानी और प्रो. गुरुमूर्ति के बीच बहुत ही संवादात्मक सत्र आयोजित किया गया. इंटरएक्टिव सत्र के दौरान ई-ट्रैक्टर, ड्रोन से लेकर उद्योग 4.0 के विभिन्न अन्य पहलुओं पर चर्चा की गयी.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें