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चाय बागानों में 2300 नये राशन कार्ड बनाने होंगे
जलपाईगुड़ी : डुआर्स के चाय बागानों में श्रमिक परिवारों में विभाजन के कारण नये परिवारों की संख्या बढ़ रही है. इन नये परिवारों का भी राशन कार्ड बनाना होगा. खाद्य विभाग की समीक्षा में डुआर्स में इस तरह के 360 नये विभाजित चाय श्रमिक परिवार मिले हैं. इसकी वजह से चाय बागानों में 2200-2300 नये […]
जलपाईगुड़ी : डुआर्स के चाय बागानों में श्रमिक परिवारों में विभाजन के कारण नये परिवारों की संख्या बढ़ रही है. इन नये परिवारों का भी राशन कार्ड बनाना होगा. खाद्य विभाग की समीक्षा में डुआर्स में इस तरह के 360 नये विभाजित चाय श्रमिक परिवार मिले हैं. इसकी वजह से चाय बागानों में 2200-2300 नये कार्ड बनाने होंगे.
लेकिन साथ ही साथ यह भी कोशिश होगी कि चाय श्रमिक परिवारों में ज्यादा विभाजन ना हो. गुरुवार को जलपाईगुड़ी नगरपालिका के प्रयास हॉल में जलपाईगुड़ी, अलीपुरद्वार और कूचबिहार जिलों के राशन डीलरों, राइस मिल मालिकों और खाद्य विभाग के अधिकारियों को लेकर बैठक के दौरान राज्य के खाद्य मंत्री ज्योतिप्रिय मल्लिक ने उक्त बातें कही.
मंत्री ने यह भी बताया कि आगामी एक नवंबर से किसान 90 क्विंटल के हिसाब से धान बिक्री कर पायेंगे. एक क्विंटल का दाम 1770 रुपया (बीस रूपया प्रोत्साहन भत्ता) रखा गया है. इसके अलावा प्रत्येक सात गांवों पर एक चलायमान धान क्रय केंद्र भी खोला जा रहा है. राज्य की करीब 25 हजार राशन दुकानों को ऑटोमेशन परिसेवा के तहत लाया जा रहा है.
इससे ग्राहकों को कितना राशन मिला, दुकानदार ने कितने दाम पर बिक्री किया, यह सब हिसाब अपने आप राज्य सरकार को मिल जायेगा. उन्होंने कहा कि बहुत से राइस मिल मालिकों ने सरकार से धान लिया है, लेकिन अभी तक चावल नहीं दिया है. इन राईस मिलों को फिलहाल कुछ समय दिया गया है. पूजा के बाद आवश्यकता के हिसाब से इस बारे में कदम उठाया जायेगा.
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