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कोलकाता : कोलकाता-अंडमान के बीच एक महीने से नहीं चला जहाज
केंद्र सरकार पर पक्षपात का आरोप कोलकाता : पिछले एक महीने से अंडमान-निकोबार की राजधानी पोर्ट ब्लेयर से कोलकाता के बीच कोई पैसेंजर जहाज नहीं चला है. इसकी वजह है पैसेंजर कैरियर का उपलब्ध नहीं होना. यहां तक कि शिपिंग कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया के अधिकारियों ने चेतावनी दी है कि कोलकाता और पोर्ट ब्लेयर के […]
केंद्र सरकार पर पक्षपात का आरोप
कोलकाता : पिछले एक महीने से अंडमान-निकोबार की राजधानी पोर्ट ब्लेयर से कोलकाता के बीच कोई पैसेंजर जहाज नहीं चला है. इसकी वजह है पैसेंजर कैरियर का उपलब्ध नहीं होना.
यहां तक कि शिपिंग कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया के अधिकारियों ने चेतावनी दी है कि कोलकाता और पोर्ट ब्लेयर के बीच शिपिंग सेवा हमेशा के लिए खत्म करनी पड़ सकती है. अधिकारियों का कहना है कि ऐसा केंद्रीय जहाजरानी मंत्रालय के रवैये के कारण हो रहा है.
लोगों ने आरोप लगाया है कि केंद्र पश्चिम बंगाल के साथ पक्षपात कर रहा है, क्योंकि पोर्ट ब्लेयर और चेन्नई के बीच सेवाएं सामान्य तरीके से चल रही हैं.
शिपिंग कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया इस रास्ते पर पैसेंजर जहाजों को चलाता है. कुछ साल पहले तक इस रूट पर एमवी अकबर, एमवी हर्षवर्धन और एमवी निकोबार जहाज इस रास्ते पर चलते थे. इनमें से एमवी अकबर और एमवी हर्षवर्धन को शिपिंग कॉर्पोरेशन ने बेच दिया और एमवी निकोबार दुर्घटनाग्रस्त हो गया और मरम्मत के बाद अभी तक वापस कोलकाता नहीं पहुंचा है.
बताया जा रहा है कि अभी इसमें 4 महीने और लग सकते हैं. कोलकाता शिपिंग ऑफिस इस बारे में अंडमान से बात कर रहा है, लेकिन कोई समाधान नहीं निकाला जा सका है. इस कारण इस रास्ते पर चलने वाले लोगों को काफी नुकसान हो रहा है क्योंकि जहाज से किराया कम लगता है.
एक अधिकारी ने पुष्टि की है केबिन का किराया कोलकाता से पोर्ट ब्लेयर के बीच करीब 7,000 रुपये है. यात्री इसके स्थान पर 7000-8000 रुपये में फ्लाइट लेते हैं लेकिन मजदूरों के लिए जहाज का बंक सस्ता होता है. इसलिए जहाज की मेंटेनेंस का खर्चा उठाना मुश्किल हो जाता है.
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