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वर्दी का खौफ नहीं, लगे कोई अपना आया
बगहा : मैं लोक संवेदना के अभियान को थानों में शत प्रतिशत लागू देखना चाहता हूं. वर्दी का खौफ नहीं, पुलिस को देख कर आम लोगों को यह महसूस हो कि कोई अपना आ गया. यह मेरी रक्षा करेगा. इस तरह का वातावरण मैं चाहता हूं. कोई पीड़ित थाने में अपनी व्यथा लेकर आता है […]
बगहा : मैं लोक संवेदना के अभियान को थानों में शत प्रतिशत लागू देखना चाहता हूं. वर्दी का खौफ नहीं, पुलिस को देख कर आम लोगों को यह महसूस हो कि कोई अपना आ गया. यह मेरी रक्षा करेगा. इस तरह का वातावरण मैं चाहता हूं. कोई पीड़ित थाने में अपनी व्यथा लेकर आता है तो उसके साथ सौहार्दपूर्ण व्यवहार होना चाहिए. उसकी पीड़ा को सुनने के बाद त्वरित कार्रवाई भी होनी चाहिए. ताकि उसे न्याय मिले और आम लोगों में पुलिस के प्रति अच्छी भावना जागृत हो. इसमें किसी प्रकार की कोताही बरदाश्त नहीं की जायेगी.
कुछ इस अंदाज में एसपी सफीउल हक ने रविवार को आयोजित अपनी पहली क्राइम मीटिंग में थानेदारों को नसीहत दिया. उन्होंने कहा कि चौकीदार से लेकर थानेदार तक को अपने में सेवा की भावना लानी होगी, तभी अपराध एवं अपराधियों पर लगाम लगाया जा सकता है. करीब चार घंटे तक चले क्राइम मीटिंग में एसपी ने प्रत्येक थाने के लंबित कांडों की समीक्षा की और आवश्यक निर्देश भी दिये. उन्होंने कहा कि लंबित कांडों के निष्पादन में तेजी लावें. प्रत्येक सप्ताह में दो बार स्वयं थानेदार कांड के अनुसंधानकर्ताओं के साथ बैठक कर लंबित कांडों की प्रगति की समीक्षा करें. तभी कांडों के निष्पादन में तेजी आयेगी.
छूटे अपराधियों पर नजर
एसपी ने कहा कि जमानत पर छूटे अपराधियों पर विशेष नजर रखें. हाल के दिनों में कई अपराधी जमानत पर छूटे हैं. उनकी गतिविधियों पर नजर रखना आवश्यक है. कई बार ऐसा होता है कि जेल से छूटने के बाद अपराधी फिर से अपराध की योजना बनाने लगते हैं. अपने पुराने साथियों के साथ मिल कर आपराधिक घटना को अंजाम दे देते हैं और क्षेत्र छोड़ कर कहीं अन्यत्र चले जाते हैं.
इस लिए आवश्यक है कि जेल से छूटे शातिर अपराधियों को रोज थाने में हाजिरी देने के लिए बुलाएं तथा उनकी गतिविधियों पर पैनी नजर रखें. जैसे हीं कुछ जानकारी मिले तो उसका सत्यापन कर साक्ष्य संकलित कर आरोपित को गिरफ्तार कर लें.
चोरी की घटना पर कैसे लगे लगाम
क्राइम मीटिंग में एसपी ने पुलिस अधिकारियों से पूछा कि कई थाना क्षेत्रों में चोरी की घटना बढी है. इसके क्या कारण है.कैसे चोरी की घटनाओं पर लगाम लगाया जायेगा. हालांकि चोरी की घटना पर लगाम लगाने के लिए एसपी ने कहा कि नियमित रूप से काफी मुस्तैदी के साथ रात्रि गश्ती होनी चाहिए. रात्रि गश्ती में निकलने वाले पुलिस पदाधिकारी को अलर्ट करें. उनके गश्ती के दौरान यदि किसी दुकान का ताला टूटा तो माना जायेगा कि गश्ती मुस्तैदी के साथ नहीं हुई थी.
गश्ती करने वाले पुलिस पदाधिकारी एवं पूरी टीम के खिलाफ कार्रवाई होगी. कई बार ऐसा होता है कि जीप लेकर गश्ती टीम निकलती है और किसी चौराहे पर खड़ा हो कर पूरी रात गुजार देते हैं. ऐसी आदतों से बाज आएं.
तकनीकी ढंग से करें अनुसंधान
एसपी ने कहा कि सभी पुलिस पदाधिकारियों को तकनीकी ढंग से अनुसंधान करने का प्रशिक्षण दिया गया है. ऐसे में किसी भी आपराधिक घटना का तकनीकी ढंग से अनुसंधान करें. इससे कांड का शीघ्र उद्भेदन होगा और आरोपित भी पकड़े जायेंगे. अनुसंधान में शिथिलता कतई बरदाश्त नहीं होगी. अनुसंधान में शिथिलता की वजह से कई बार ऐसा होता है कि आरोपित को मौका मिल जाता है और वह साक्ष्य को मिटा देता हैं या फिर उसका मनोबल बढ जाता है .
इस वजह से वह अन्य घटना को अंजाम दे डालता हैं. बैठक में एसडीपीओ ललित मोहन शर्मा, सुनीता कुमारी, पुलिस निरीक्षक भारतेंदु प्रसाद देव, रामबाबू कापर, दुर्गा मिश्र, थानाध्यक्ष मो अयूब, सत्येंद्र राम, सुनील कुमार, सुधीर कुमार, दुष्यंत कुमार, उपेंद्र महतो, अरविंद प्रसाद, शुभनारायण यादव, अब्दूल मजीद, जितेंद्र महतो, छोटेलाल पटवारी आदि उपस्थित थे.
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