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75 % लोगों को नहीं मिल रहा है पेयजल
बढ़ती गरमी के साथ ही क्षेत्र में जल संकट गहराने लगा है. शहरी क्षेत्र में भी आबादी के अनुरूप पानी की आपूर्ति नहीं हो रही है. लोग परेशान हैं. रविकांत साहू सिमडेगा : नगर परिषद क्षेत्र की लगभग 75 प्रतिशत आबादी को पेयजल मयस्सर नहीं हो पा रहा है.शहरी क्षेत्र के 18 वार्ड की आबादी […]
बढ़ती गरमी के साथ ही क्षेत्र
में जल संकट गहराने लगा है. शहरी क्षेत्र में भी आबादी के अनुरूप पानी की आपूर्ति नहीं हो रही है. लोग परेशान हैं.
रविकांत साहू
सिमडेगा : नगर परिषद क्षेत्र की लगभग 75 प्रतिशत आबादी को पेयजल मयस्सर नहीं हो पा रहा है.शहरी क्षेत्र के 18 वार्ड की आबादी को देखा जाये, तो वर्तमान में प्रतिदिन लगभग 15 लाख गैलन जलापूर्ति की आवश्यकता है, किंतु वर्तमान में लगभग डेढ़ लाख गैलन ही जलापूर्ति हो पा रही है. जलापूर्ति सिस्टम को नगर परिषद के अधीन कर दिया है, किंतु नगर परिषद में जलापूर्ति विभाग से संबंधित एक भी तकनीकी इंजीनियर नहीं हैं:
डेढ़ लाख गैलन की आपूर्ति
शहरी क्षेत्र की आबादी लगभग 50 हजार है. शहरी क्षेत्र में कुल 18 वार्ड हैं. 18 वार्ड में से पांच-छह वार्ड में ही जलापूर्ति हो पा रही है. शहरी क्षेत्र में आबादी के हिसाब से प्रतिदिन लगभग 15 लाख गैलन जलापूर्ति की आवश्यकता है, किंतु अभी लगभग डेढ़ लाख गैलन जलापूर्ति हो पा रही है.
जलापूर्ति सिस्टम के जीर्णोद्धार की जरूरत
शहरी क्षेत्र में स्थित जलापूर्ति योजना के जीर्णोद्धार से जनता को इसका लाभ मिल सकता है.जीर्णोद्धार योजना के लिए लगभग 30 लाख रुपये की योजना बना कर नगर विकास को एक वर्ष पूर्व भेजा गया है, किंतु नगर विकास विभाग द्वारा उक्त योजना पर अब तक कोई पहल नहीं की गयी है़ बहरहाल जलापूर्ति योजना का जीर्णोद्धार नहीं हुआ, तो आने वाले दिनों में जलापूर्ति सिस्टम फेल भी हो सकती है.
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