रांची . बोकारो जमीन घोटाला मामले के आरोपी शैलेश सिंह के खिलाफ वारंट निर्गत किया है. सीआइडी ने उनके खिलाफ वारंट निर्गत करने के लिए सीआइडी के विशेष कोर्ट में आवेदन देकर आग्रह किया था. आरोप है कि बोकारो के तेतुलिया मौजा के 103 एकड़ वन भूमि की खरीद-ब्रिक्री में उन्होंने मुख्य भूमिका निभायी थी. सीआइडी की अब तक की जांच में यह बात सामने आयी है कि शैलेश सिंह ने उक्त भूमि की खरीद-बिक्री के लिए वर्ष 2021 में बोकारो जिले के निबंधन कार्यालय से तीन पवार ऑफ एटॉर्नी ली थी. इसके बाद उसी पवार ऑफ एटॉर्नी के आधार पर शैलेश सिंह ने अपने ही बेटे आयुष सिंह और लल्लन सिंह के नाम पर बनायी गयी कंपनी उमायुष मल्टीकॉम प्राइवेट लिमिटेड के नाम पर 74 एकड़ भूमि की रजिस्ट्री कर दी. शैलेश सिंह ने वन भूमि की खरीद-बिक्री के लिए अंचल कार्यालय के कमर्चारियों के साथ मिलीभगत भी की. चौंकाने वाली बात यह है कि शैलेश सिंह ने इजहार हुसैन और अख्तर हुसैन समेत अन्य दावेदारों की बिना सहमति और जानकारी के ही 74 एकड़ जमीन की रजिस्ट्री अपने बेटे के नाम पर बनायी कंपनी के नाम कर दी थी, जिसके बाद आपसी विवाद शुरू हो गया. मामले में व्यवसायी पुनीत अग्रवाल, इजहार हुसैन और अख्तर हुसैन को सीआइडी ने गिरफ्तार किया था. वे तीनों वर्तमान में होटवार स्थित बिरसा मुंडा केंद्रीय कारा में बंद हैं.
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