रायडीह. तेलंगाना के नगरकुरनूल जिले के श्रीशैलम सुरंग नहर टनल हादसा में रायडीह थाना क्षेत्र के कोबीटोली निवासी मजदूर जगता खेस की मौत हो गयी थी. उसका शव नहीं मिलने के बाद सोमवार को गांव के ही कुदारी नदी तट पर रेत का पुतला बना कर धार्मिक रीति रिवाज से अंतिम संस्कार किया गया. अंतिम संस्कार की पूरी क्रिया गांव के बैगा पाहन जयराम उरांव ने की. इसके बाद घर पर शोकसभा आयोजित कर जगता खेस की तस्वीर पर माल्यार्पण व पुष्प अर्पित कर रीति-रिवाज से श्रद्धांजलि दी गयी. इस दौरान जगता खेस की मां मंगरी देवी की आंखें छलक आयी और रो-रो कर कहने लगी कि मैं कितनी बदनसीब मां हूं कि मेरे बेटे का शव अंतिम संस्कार करने के लिए नसीब नहीं हुआ. इधर, जगता खेस का बड़ा भाई जीतराम खेस ने बताया कि 22 फरवरी को तेलंगाना के नगरकुरनूल जिले के श्रीशैलम सुरंग नहर टनल में काम करते हुए नहर धंसने से जगता खेस अंदर फंस गया था. इसके बाद प्रशासन की मदद से हमें तेलंगाना भेजा गया था, पर सुरंग से मेरे भाई को नहीं निकला जा सका. अब तीन माह बीत चुका है, पर मेरे भाई का कोई पता नहीं है. नहर निर्माण कंपनी व तेलंगाना प्रशासन ने मेरे भाई को मृत घोषित कर दिया और एक प्रमाण पत्र भेज दिया है.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है