7.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

सरूउत में नहीं पहुंची विकास की रोशनी

भंडरिया प्रखंड में स्थित झारखंड के दूसरे सबसे ऊंचे पहाड़ की चोटी पर बसा आदिम जनजाति बहुल सरूउत गांव बुनियादी सुविधाओं से हैं वंचित प्रावि सेरंगटाड़ व लेटाटोली के शिक्षक एक या दो दिन आते हैं तीन चापानल भी है खराब पड़ा है भंडरिया : झारखंड राज्य की दूसरी सबसे ऊंची सरूउत पर्वत पर बसे […]

भंडरिया प्रखंड में स्थित झारखंड के दूसरे सबसे ऊंचे पहाड़ की चोटी पर बसा आदिम जनजाति बहुल सरूउत गांव बुनियादी सुविधाओं से हैं वंचित

प्रावि सेरंगटाड़ व लेटाटोली के शिक्षक एक या दो दिन आते हैं
तीन चापानल भी है खराब पड़ा है
भंडरिया : झारखंड राज्य की दूसरी सबसे ऊंची सरूउत पर्वत पर बसे लोग बदहाली का जीवन जीने को विवश है़ भंडरिया प्रखंड के टेहरी पंचायत के गगनचुंबी चोटी पर बसे आदिम जनजाति बहुल इस गांव को संवारने की जवाबदेही सरकार के लिए वर्षों से चुनौती बनी हुई है़ पहाड़ पर बसे इस गांव में पर्यटन स्थल होने के कई गुण विद्यमान है़ बावजूद विकास के मानक पर यह क्षेत्र आज भी काफी पीछे चल रहा है़ इस गांव का पिछड़ापन महज अभिशाप नहीं कहा जा सकता़ क्योंकि सरूउत गांव के एक छोर पर छत्तीसगढ़ के बलरामपुर जिला के इलाके आबाद हैं, तो सरूउत बदहाल़
छत्तीसगढ़ वाले हिस्से में बिजली पानी की सहित अन्य बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध है, वहीं दूसरी ओर सरूउत गांव तक पहुंचने के लिए सड़क तक नहीं है़ प्रशासन अंतिम व्यक्ति तक विकास पहुंचाने का लाख दावा कर लें, लेकिन सरूउत की बदहाली उन दावों को आइना दिखाते रहेंगे़ सरूउत से महज आधा किमी दूर छत्तीसगढ़ का गांव बिजली से जगमग होती है, तो इस गांव के लोगों के लिए बिजली एक सपना से कम नहीं है़ इस गांव में दो-तीन चापाकल है,
जो ऊंचाई क्षेत्र होने के कारण अकसर खराब रहते हैं और उनकी मरम्मत साल छह महीने में एकाध बार ही हो पाती है़ जिसके कारण लोगों को चुआड़ी का पानी पीना पड़ता है़ सड़क नहीं होने के कारण असमय लोग काल के गाल में समा जाते है़ं गांव में स्कूल तो है, लेकिन शिक्षक ही नहीं आते़ इसलिए यहां के बच्चे छत्तीसगढ़ में पढ़ाई कर रहे है़ं यद्यपि गांव के अधिकतर लोग निरक्षर है़ं
गांव के दर्जनों वृद्ध पेंशन से वंचित हैं : गांव की 70 वर्षीय वृद्ध धसनी कुंवर परिवार में बिलकुल अकेली है़ उसके पास आय का कोई साधन नहीं है़ धसनी को न तो राशन मिलता है और न हीं पेंशऩ वहीं गांव की पेंशन से वंचित लोगों में लिलमी कुंवर (65 वर्ष), सीता कुंवर(46 वर्ष), फुलेशरी कुंवर(65 वर्ष), मटकी कुंवर(61 वर्ष),रामशकल नगेशिया(62 वर्ष), जलानी देवी(63 वर्ष) समेत कई ग्रामीणों का आरोप है कि जन प्रतिनिधि सिर्फ वोट लेने आते हैं, दर्जनों बार आवेदन दिया लेकिन उनका पेंशन चालू नहीं हुआ़
स्कूल में शिक्षक नहीं आते, कैसे बने साक्षर : ग्रामीणों की माने तो प्राथमिक विद्यालय सेरंगटाड़ व लेटाटोली के शिक्षक माह में मात्र एक या दो दिन आते है़ं
स्थानीय पारा शिक्षक छत्तीसगढ़ में स्थायी रूप से रहते है़ं विद्यालय नियमित नहीं होने से बच्चे चाहकर भी नहीं पढ़ पाते़ 20 बच्चों वाला लेटाटोली स्कूल के शिक्षक गणेश यादव चांदो (छत्तीसगढ़) में रहते है़ं शिक्षक के नहीं आने के कारण इस गांव में साक्षर बनने की कल्पना कब साकार होगा यह कहना मुश्किल है़
कोई सरकारी लाभ नहीं मिलता : ग्रामीण
गांव के ग्रामीण रेवत यादव, इंद्रदेव नगेशिया, बिफन नगेशिया, रमेश नगेशिया, सोनर किसान, दशरथ किसान आदि लोगों कहना है कि सरकारी आवास योजना अथवा विकास योजनाएं उनके गांव तक नहीं पहुंचती़ कच्चे मकान में रह रहे लोग शौचालय की सुविधा से वंचित है़ गांव में बड़ी संख्या में आदिम जनजाति के लोग निवास करते हैं, लेकिन इनकी सुधि लेने वाला कोई नहीं है़ पिछले दिनों पहाड़ी पर बसे इस गांव में विगत कई वर्षों के बाद गढ़वा उपायुक्त डॉ नेहा अरोड़ा ने वहां पहुंच कर उनके बुझे हुए उम्मीद की दीपक को जलाकर सड़क,बिजली समेत विकास का कई आश्वासन दिया तो था, लेकिन गांव वाले उन आश्वासनों का बाट अब तक जोह रहे है़ं
समुचित राशन भी नहीं मिलता : ग्राम प्रधान
ग्राम प्रधान मधु नगेशिया का कहना है कि गांव में किसी ग्रामीण को प्रधानमंत्री आवास, शौचालय आदि की कोई सुविधा नहीं मिली है़ राशन वितरण में ज्यादातर परिवार के राशन कार्ड में सदस्य संख्या के तुलना में आधा से भी कम सदस्यों का संख्या दर्ज होने के कारण मिलने वाला अनाज उनके लिये पर्याप्त नहीं है़ वहीं ग्रामीण बालदेव यादव, इकबाल यादव, सुबेशर यादव, रामशरण यादव, धसमी कुंवर समेत कई लोगों को राशन सामग्री नहीं मिलता़ इसकी शिकायत कई बार करने के बावजूद सुधार नहीं हो रहा है़ साहब लोग के पास जाने पर आश्वासन देकर भेज दिया जाता है, पर सुधार नहीं होता़

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें