दुर्गापूजा से पहले बकाये भुगतान की मांग पर अडे हैं कर्मी दूसरे दिन भी नहीं हो सकती हड़ताल समाप्त करने की पहल प्रतिनिधि, दुमका दुमका नगर परिषद के सफाई कर्मचारियों के 12 सितंबर से अपने बकाया मानदेय भुगतान को लेकर अनिश्चितकालीन हड़ताल पर रहने से शहर में कूड़े का अंबार लग गया है. सोमवार को आंदोलन के तीसरे दिन भी सफाई कर्मचारियों के आंदोलन को समाप्त कराने के लिए कोई सकारात्मक पहल नहीं हो सकी. न ही विभाग के संग कोई समझौता ही हो सका. विदित हो कि झारखंड लोकल बाॅडीज इंप्लॉइज फेडरेशन दुमका नगर परिषद के बैनर तले सफाईकर्मी हड़ताल पर हैं. कर्मचारियों ने दुर्गापूजा से पहले बकाया मानदेय भुगतान करने की मांग को लेकर हड़ताल शुरू की है. कर्मियों का कहना है कि नगर परिषद प्रशासन उनकी मांग पर ध्यान नहीं दे रहा है, इसलिए यह आंदोलन उनकी मजबूरी है. इस हड़ताल से पहले भी शहर में सफाई व्यवस्था बदहाल थी, अब शहर नरकीय स्थिति में तब्दील होने लगा है. रविवार की शाम और सोमवार की दोपहर हुई बारिश से कई नालियों ओवरफ्लो इसलिए कर रही थीं कि नालियों में कचरा अटा पड़ा है. चौक-चौराहों पर कचड़ा के अंबार और लगातार बारिश से स्थिति भयावह हो रही है. नगर में टीन बाजार से वीर कुंवर सिंह चौक तक गंदगी फैली है. वहीं अजीम गली चौक, सब्जी मंडी, कुम्हारपारा चौक, यज्ञ मैदान बके आसपास कचड़ा भरा है. दुकानदारों से लेकर नगरवासियों को शहरों में गंदगी जमा होने से परेशानी का सामना करना पड रहा है. फेडरेशन के जिला मंत्री विजय कुमार दास ने कहा कि प्रशासन ने सफाईकर्मियों की मांगों पर ध्यान नहीं दिया, जिसके कारण यह कदम उठाया गया है. उन्होंने कहा कि संघ ने निर्णय लिया है कि वे आंदोलन के बावजूद जनहित में त्योहार में शहर को स्वच्छ और साफ करेंगे. इसके लिए 22 सितंबर से सभी दुर्गापूजा पंडालों व आसपास काला बिल्ला लगाकर श्रमदान कर शहर की सफाई करेंगे.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

