बनास डेयरी गुजरात में प्रथम नेशनल चेंजमेकर्स मीट हुए शामिल प्रतिनिधि, बासुकिनाथ झारखंड के शिक्षक डॉ सपन कुमार पत्रलेख को गुजरात में राष्ट्रीय चेंजमेकर्स अवॉर्ड से सम्मानित किया गया. समन्वय प्रतिष्ठान बड़ोदरा द्वारा आयोजित एशिया की सबसे बड़ी सहकारी डेयरी बनास में प्रथम नेशनल चेंजमेकर्स मीट का आयोजन किया गया. इसमें भारत के 27 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के 51 विभिन्न क्षेत्रों में विशिष्ट कार्य करने वाले चेंजमेकर्स को आमंत्रित किया गया था. विभिन्न क्षेत्रों में सकारात्मक बदलाव लाने का काम कर रहे व्यक्ति, कॉर्पोरेट, स्टार्टअप, विभिन्न संगठन आदि के लोग शामिल हुए. ब्लैकबोर्ड मॉडल से विख्यात शिक्षक डॉ सपन कुमार पत्रलेख ने कहा कि भारत को 2047 तक विकसित राष्ट्र बनाने के लिए सबसे पहले काम शिक्षा के क्षेत्र में करने की आवश्यकता है, जब भारत शिक्षित होगा तो विकसित भारत की संकल्पना कर सकते हैं. उन्होंने कहा कि गरीबी को समाप्त करने का सबसे बड़ा हथियार शिक्षा है. हर देश में जहां गरीबी और संसाधनों की कमी से लोग जूझ रहे हैं. वहां उनका ब्लैकबोर्ड मॉडल के साथ तकनीकी को जोड़कर, नवाचार के माध्यम से आसानी से शिक्षा पहुंचायी जा सकती है. उन्होंने कहा कि भारत शिक्षा के क्षेत्र में प्राचीन काल में भी विश्व गुरु रहा है. भारत का नालंदा विश्वविद्यालय, तक्षशिला विश्वविद्यालय इस बात का प्रमाण है कि भारत सदियों से पूरे विश्व को शिक्षा देते आया है. पुनः भारत को विश्व गुरु बनाने के लिए शिक्षा के क्षेत्र में काम कर रहे देशभर के सभी लोगों को मिलकर काम करने की आवश्यकता है. डॉ सपन पत्रलेख ने ब्लैकबोर्ड मॉडल के बारे में जानकारी दी. उन्होंने बताया कि किस प्रकार कठिन परिस्थितियों के बीच आदिवासी गांव में शुरू किया गया ब्लैकबोर्ड मॉडल (हर घर विद्यालय) शिक्षा पद्धति से भारत के सभी राज्यों के साथ विदेशों में भी देश का नाम रोशन हुआ है. समन्वय प्रतिष्ठा के संयोजक डॉ जिगर इनामदार ने कहा कि भारत के 51 नायकों ने कठिन परिस्थितियों के बीच विभिन्न क्षेत्रों में चुनौतियों को अपने विचारों अपने नवाचारों से प्रभावी समाधानों में बदला है. विकसित भारत के निर्माण में चेंज मेकर्स की महत्वपूर्ण भूमिका है. विभिन्न कार्य क्षेत्र में कार्य कर रहे उनके प्रयासों को राष्ट्रीय स्तर पर गुजरात में सम्मानित किया जा रहा है. प्रथम नेशनल चेंजमेकर्स मीट के मौके पर गुजरात विधानसभा के अध्यक्ष और बनास डेरी के अध्यक्ष शंकर चौधरी, इंडिया फाउंडेशन के अध्यक्ष डॉ राम माधव, गुजरात राज्य परिवहन निगम के उपाध्यक्ष (आइएएस ) एम नागराजन , पूर्व शिक्षा मंत्री भूपेंद्र सिंह चूड़ासमा, जीडेक्स ग्रुप के अध्यक्ष अजय रंका, पूर्व केंद्रीय मंत्री सुरेश प्रभु समन्वय संस्थान के समन्वयक डॉ जिगर ईनामदार, कार्यक्रम के समन्वयक प्रेम, सनम, दीप्ति, नीति, नितेश पांडे आदि मौजूद थे.
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