– सदर प्रखंड के अमहा पंचायत में गोवर्धन प्लांट का बीडीओ ने किया निरीक्षण – पशुपालकों से नियमित रूप से गोबर संग्रह करने का दिया गया निर्देश सुपौल. सदर प्रखंड के अमहा पंचायत में बनाए गए गोवर्धन प्लांट का सदर बीडीओ कृष्णा कुमारी ने शुक्रवार को निरीक्षण किया. इस दौरान उन्होंने प्लांट परिसर, मशीनरी, अपशिष्ट प्रबंधन की व्यवस्था और बायो-स्लरी के उपयोग की स्थिति की समीक्षा की. बीडीओ ने कहा कि गोवर्धन प्लांट ग्रामीण पर्यावरण संरक्षण और स्वच्छ ऊर्जा उत्पादन की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है. उन्होंने कहा कि पशु अपशिष्ट का वैज्ञानिक ढंग से उपयोग कर जैव गैस और जैव खाद तैयार करने की यह व्यवस्था ना केवल पर्यावरण को सुरक्षित करती है, बल्कि किसानों की लागत भी कम करती है. उन्होंने संचालकों को निर्देश दिया कि प्लांट की मशीनें समय-समय पर मेंटेनेंस की जाएं, ताकि गैस उत्पादन निर्बाध रहे और बायो-स्लरी का वितरण सुचारू रूप से होता रहे. निरीक्षण के दौरान बीडीओ ने अपशिष्ट संग्रहण पद्धति के बारे में जानकारी ली. उन्होंने कहा कि पंचायत स्तर पर इस प्रकार का प्लांट ग्रामीण स्वच्छता अभियान को मजबूत बनाता है. साथ ही स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के अवसर भी देता है. उन्होंने पंचायत सचिव और प्लांट संचालकों को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया कि पशुपालकों से नियमित रूप से गोबर संग्रह किया जाए और कोई भी अपशिष्ट इधर-उधर नहीं फेंका जाए. कहा कि गोवर्धन योजना का उद्देश्य गांवों को स्वच्छ बनाना और जैविक खेती को बढ़ावा देना है. अमहा पंचायत में स्थापित प्लांट इसका एक बेहतर उदाहरण हो सकता है, बशर्ते इसे योजनाबद्ध तरीके से चलाया जाए. कहा कि प्लांट संचालन में लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी और यदि आगे किसी प्रकार की शिकायत मिली तो संबंधितों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. ग्रामीणों ने कहा कि प्लांट की शुरुआत के बाद से गांव में स्वच्छता में सुधार आया है और कई किसानों को जैविक खाद उपलब्ध होने लगे हैं. बीडीओ ने ग्रामीणों की बात सुनते हुए कहा कि प्रशासन हर संभव सहयोग करेगा, ताकि प्लांट पूरी क्षमता के साथ संचालित हो सके और ग्रामीणों को इसका अधिकतम लाभ मिले. बीडीओ ने परिसर की सफाई व्यवस्था को और सुदृढ़ करने, अपशिष्ट संग्रहण टीम को सक्रिय रखने और प्लांट के आउटपुट की नियमित मॉनिटरिंग करने का निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि गोवर्धन प्लांट का सफल संचालन गांव की प्रगति और पर्यावरण संरक्षण दोनों के लिए आवश्यक है. मौके पर एलएसबी कंचन कुमारी, पंचायत सचिव काजल कुमारी, स्वच्छता पर्यवेक्षक राजीव कुमार आदि मौजूद थे.
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