प्रतिनिधि,सीवान. सरकारी विद्यालय में पढ़ाई करने वाले कक्षा आठवीं से बारहवीं तक के छात्रों को तैराकी का प्रशिक्षण दिया जाएगा.मुख्यमंत्री सुरक्षा कार्यक्रम के तहत इन छात्रों को तैराकी सिखाई जाएगी.इस संबंध में शिक्षा विभाग के एसीएस ने डीइओ को निर्देश दिया है. एसीएस ने कहा है कि इस प्रशिक्षण का उद्देश्य फिजिकल फिटनेस साथ ही उन्हें आपदा की स्थिति के लिए तैयार करना है. छात्रों का चयन शिक्षक करेंगे. इसके लिए बिहार शिक्षा परियोजना परिषद और आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने संयुक्त रूप से प्रशिक्षण देने का निर्णय लिया है. डीइओ राघवेंद्र प्रताप सिंह के मुताबिक छात्रों को तैराकी की ट्रेनिंग देने की वजह आपदा में खुद को बचाने के साथ ही दूसरों की भी मदद करना है.तैराकी के प्रशिक्षण के लिए प्रखंड व जिला स्तर पर तैयारी की जाएगी.जिन स्कूलों में भूमि उपलब्ध है.वहां कैंपस में ही छोटा तालाब खोदा जायेगा.जिस विद्यालय में भूमि नहीं होगी, वहां सरकारी जमीन पर इसकी व्यवस्था होगी. पोखरा, तालाब, नदियों का भी इस्तेमाल तैराकी प्रशिक्षण के लिए किया जाएगा. इस दौरान सुरक्षा के लिए गोताखोर और आपदा विभाग की टीम भी रहेगी. तैराकी सिखाने वाले प्रशिक्षक खुद ही मास्टर ट्रेनर होंगे.
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