सीतामढ़ी. फाइलेरिया प्रसार दर की पहचान के लिए जिले में नाइट ब्लड सर्वेक्षण किया जाएगा. इसको लेकर स्वास्थ्य विभाग ने तैयारियां शुरू कर दी है. 13 से 17 अक्टूबर के बीच होने वाले इस सर्वेक्षण के लिए स्वास्थ्य अधिकारियों और कर्मियों को प्रशिक्षण दिया गया है. जीएनएम ट्रेनिंग स्कूल मधुबन, डुमरा में आयोजित प्रशिक्षण कार्यक्रम में सिविल सर्जन डॉ अखिलेश कुमार एवं जिला भीबीडी नियंत्रण पदाधिकारी डॉ रवींद्र कुमार यादव समेत अन्य अधिकारी शामिल हुए. डॉ यादव ने कहा कि इस सर्वेक्षण के माध्यम से फाइलेरिया के प्रसार दर की पहचान की जाएगी. उन्होंने इसके लिए रक्त के नमूनों के संग्रहण के तरीके पर विस्तार से जानकारी दी. सिविल सर्जन ने बताया कि यह एक टीम वर्क है. सभी प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी, प्रखंड स्वास्थ्य प्रबंधक और सामुदायिक उत्प्रेरक इसे गंभीरतापूर्वक पूरा करेंगे. उन्होंने स्थानीय प्रशासन से समन्वय स्थापित कर कार्यक्रम को सफल बनाने का निर्देश दिया. विश्व स्वास्थ्य संगठन के क्षेत्रीय समन्वयक डॉ माधुरी देवराजू ने बताया कि माइक्रोस्कोपी की गुणवत्ता बहुत ही जरूरी है और इसके लिए पूर्व में भी मेडिकल कॉलेज में सभी एलटी को प्रशिक्षित किया जा चुका है. उन्होंने बताया कि सीतामढ़ी ने हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर स्तर पर एमएमडीपी क्लिनिक खोलकर फाइलेरिया नियंत्रण कार्यक्रम को एक नई दिशा प्रदान की है जो राष्ट्रीय स्तर पर अनुकरणीय है.
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