छपरा. महिला सशक्तीकरण के लिए एक और कदम बढ़ाते हुए भारतीय रेलवे ने महिला दिवस के मौके पर पाटलिपुत्र-बलिया पैसेंजर ट्रेन के संचालन की जिम्मेदारी महिला सहायक लोको पायलट श्वेता कुमारी और टिकट चेकिंग स्टाफ प्रतिमा कुमारी को सौंपी. यह पहल न केवल महिला कर्मचारियों की क्षमता और मेहनत को दर्शाती है, बल्कि यह भी साबित करती है कि महिलाएं किसी भी जिम्मेदारी को बखूबी निभाने में सक्षम हैं.
हालांकि, इस ऐतिहासिक मौके पर रेलवे प्रशासन की उदासीनता ने महिला कर्मचारियों में निराशा का माहौल पैदा किया. छपरा जंक्शन पर महिला दिवस के अवसर पर स्टेशन डायरेक्टर और अधीक्षक द्वारा महिला कर्मचारियों को सम्मानित करने की परंपरा रही है, लेकिन इस बार ना तो स्टेशन डायरेक्टर राजेश कुमार और न ही स्टेशन अधीक्षक राजन कुमार ही मौके पर उपस्थित थे. उनके न होने से महिला कर्मचारियों में नाराजगी देखी गयी, क्योंकि यह सम्मान समारोह उनकी मेहनत और योगदान को सराहने का एक महत्वपूर्ण अवसर था. इसके अलावा, पाटलिपुत्र-बलिया पैसेंजर ट्रेन, जो सामान्यतः प्लेटफॉर्म संख्या एक पर आती है, इस बार प्लेटफॉर्म संख्या दो पर लायी गयी थी, जिससे यात्रियों और कर्मचारियों को थोड़ी कठिनाई का सामना करना पड़ा. ट्रेन के लोको पायलट विनय कुमार सिंह ने कहा कि हमारे देश में महिलाओं का योगदान हर क्षेत्र में सराहनीय है. यदि प्रशासन महिला दिवस पर महिलाओं को सम्मानित करने की परंपरा इस साल भी निभाता, तो यह और भी प्रेरणादायक होता.
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