आयोजन. किसान मेले से राज्य ही नहीं, देश के किसान भी होंगे लाभान्वित : मंत्री
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किसानों को प्राथमिकता दे रही सरकार
आयोजन. किसान मेले से राज्य ही नहीं, देश के किसान भी होंगे लाभान्वित : मंत्री पूसा : डॉ राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय में आयोजित तीन दिनी किसान मेला में बतौर मुख्य अतिथि किसानों को संबोधित करते हुए बिहार सरकार के कृषि मंत्री प्रेम कुमार ने कहा गांव,गरीब एवं किसानों को प्राथमिकता के आधार पर […]
पूसा : डॉ राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय में आयोजित तीन दिनी किसान मेला में बतौर मुख्य अतिथि किसानों को संबोधित करते हुए बिहार सरकार के कृषि मंत्री प्रेम कुमार ने कहा गांव,गरीब एवं किसानों को प्राथमिकता के आधार पर हमारी सरकार देख रही है. राजेंद्र बाबू के जन्म दिवस के अवसर पर लगे किसान मेला से किसान व वैज्ञानिकों को एक साथ संवाद करने के लिए सर्वोत्तम मंच मिला है. इससे आये दिन किसानों को परम्परागत खेती करने में भी हो रही कठिनाइयों के लिए बेहतर विकल्प मिला है.
वहीं किसानों से आग्रह करते हुए कृषि मंत्री ने कहा कि परम्परागत खेती को कम करते हुए वैज्ञानिकी विधि से खेती करना ज्यादा लाभकारी है. वैज्ञानिक के अनुसंधानिक परिणाम से निकले हुए नवीनतम तकनीक के बूते किसान निश्चित ही अपनी आय को दुगुनी करने में सक्षम हो सकते हैं. एक हजार एकड़ क्षेत्रों में फैले हुए केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय में से ढाई सौ एकड़ जंगल वाले ढाभ क्षेत्र को कुलपति ने जीवन दान देकर बिहार में एक चमत्कार कर दिखाया है, जो वाकई में सराहनीय कदम है.
केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय देश स्तर पर किसानों के हित में कार्य कर रही है. इनकी निगाह सौ प्रतिशत बिहार के कृषि को सर्वोत्तम बनाने पर टिकी है. यह भी एक तरह से प्रशंसनीय विषय है. मौके पर नीलम सहनी, जिला मंत्री सुनील कुमार गुप्ता, उपेंद्र कुशवाहा, शैलेंद्र सिंह, प्रो. विजय कुमार शर्मा, प्रभात कुमार, राकेश रंजन पिंटू आदि थे.
सिंचाई व्यवस्था होगी दुरुस्त
कृषि मंत्री ने कहा कि राज्य में सिंचाई व्यवस्था को दुरुस्त किया जायेगा. इसके लिए व्यापक कार्य योजना तैयार कर लिये गये हैं. राज्य सरकार ने इस पर 21 हजार 6 सौ 12 करोड़ रुपये खर्च करने का निर्णय लिया है. जल्द ही इसे धरातल पर उतारा जायेगा. जिसका लाभ सीधे किसानों को मिल सकेगा. किसानों को सिंचाई के लिए अधिक खर्च नहीं करने होंगे. खेती में लागत भी घटेगी.
पूसा. राज्य सरकार के भवन निर्माण मंत्री महेश्वर हजारी बतौर विशिष्ट अतिथि किसान मेला के समापन सत्र को संबोधित करते हुए कहा कि वैज्ञानिक के मेहनत के अनुसार किसान के उत्पादन व उत्पादकता को आकलन करना बेहद जरूरी है. बिहार में छोटे छोटे कृषि से संबंधित कुटीर उद्योग लगाने की आवश्यकता है. इससे किसानों के माध्यम से तैयार किया गया अनाज या किसी भी तरह का उत्पाद को भलीभांति बाजार उपलब्ध हो सकेगा. कृषि वैज्ञानिकों सहित कृषि क्षेत्र के अधिकारी एवं पदाधिकारी को सोच बदलने की जरूरत है. किसानों की दशा व दिशा सुधारने के लिए एवं उनकी आय को दुगुनी करने के लिए केंद्र सरकार सहित राज्य सरकार कई प्रकार के योजनाओं कृषि क्षेत्र में लायी है. कृषि विश्वविद्यालय एवं पीएनबी से आग्रह करते हुए मंत्री ने कहा किसान हीत में योजना चलाकर लाभान्वित करें. इधर, मेले में लगाये गये स्टाॅल में आरएयू शाखा पीएनबी ने आये हुए किसानों के बीच तीन करोड़ का ऋण वितरण किया. पीएनबी जिला समन्वयक अरुण कुमार झा ने बताया कि जिले के 110 ऋण धारक को एक समझौता के तहत मुक्त किया गया है. मौके पर जोनल प्रबंधक डीके पालीवाल, उप महाप्रबंधक एसके पाणिग्रही आदि मौजूद थे.
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