सुविधाओं का अभाव . कच्ची सड़क से वर्षों से आते- जाते हैं लोग
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लोगों को पक्की सड़क भी नसीब नहीं
सुविधाओं का अभाव . कच्ची सड़क से वर्षों से आते- जाते हैं लोग काराकाट (रोहतास) : बिहार में महागंठबंधन की सरकार बनने के बाद लगने लगा था कि बिहार में विकास की और रफ्तार बढ़ेगी लेकिन आज स्थिति यह है कि बिहार के विकास की गति कुछ अवरुद्ध जरूर हो गया है. कार्य योजनाओं का […]
काराकाट (रोहतास) : बिहार में महागंठबंधन की सरकार बनने के बाद लगने लगा था कि बिहार में विकास की और रफ्तार बढ़ेगी लेकिन आज स्थिति यह है कि बिहार के विकास की गति कुछ अवरुद्ध जरूर हो गया है. कार्य योजनाओं का कार्यान्वयन धरातल पर नहीं दिखायी पड़ रही है. जिला मुख्यालय से लेकर प्रखंड मुख्यालय का हाल एक जैसा हो गया है. प्रखंड के सिकरियां पंचायत के चंडीपट्टी गांव की जनसंख्या करीब पांच हजार से ज्यादा है. वहां के वार्ड संख्या छह का काफी बुरा हाल है.
मुख्य सड़क से चांदी पट्टी गांव की दूरी करीब तीन किलोमीटर है. वार्ड संख्या छह से निकलनेवाली सड़क स्कूल होते हुए सती माई तक अब तक कच्ची ही है. इस कच्ची सड़क से उत्क्रमित मध्य विद्यालय के बच्चे, शिक्षक तथा ग्रामीणों का आना-जाना होता है. सबसे बुरा हाल बरसात के मौसम में होता है. कच्ची सड़क पानी में डूब जाती है.
जलजमाव के कारण महामारी होने का डर बना रहता है. लोगों को पक्कीकरण का इंतजार है. विद्यालय के बच्चा खुशबू कुमारी, प्रियांशु कुमारी, ब्यूटी कुमारी, सोनू, संजय कुमार व अजय कुमार ने बताया कि अभी तो गरमी का मौसम है. आ जा सकते है, लेकिन बरसात के मौसम में विद्यालय पर पहुंचना काफी मुश्किल होता है.
विद्यालय नहीं पहुंच पाते है. चांदीपट्टी गांव के लोगों का कहना है कि चुनाव के समय में जनप्रतिनिधि विकास के नये- नये आयाम गढ़ कर चले जाते हैं, लेकिन जीत जाने के बाद विकास का वादा कहां दफन हो जाता है पता नहीं चलता. जीत के बाद गांव में घूमने के लिए जनप्रतिनिधि एक बार भी नहीं आते है कि गांवों के विकास का क्या हाल है?
सिकरियां पंचायत के मुखिया किरण देवी का कहना है कि मनरेगा के तहत कच्ची सड़क का कार्य करा रही हूं. पक्की सड़क का भी निर्माण कराया जायेगा. सिकरियां पंचायत के पैक्स अध्यक्ष संजय सिंह का कहना है कि पक्की सड़क के लिए कई बार लिखित दिया गया लेकिन अब तक पक्की सड़क का निर्माण नहीं किया गया. चांदी पट्टी गांव के वार्ड सदस्य धर्मेंद्र चौधरी का कहना है कि सबसे ज्यादा परेशानी स्कूल के बच्चे व शिक्षक को होती है. पक्की सड़क का निर्माण जरूरी है.
क्या कहते हैं अधिकारी
मनरेगा से कच्चा वर्क का कार्य कराया जा रहा है. कार्य समाप्त होते ही पक्कीकरण का कार्य कराया जायेगा.
अजय शंकर मिश्र, प्रखंड विकास पदाधिकारी, काराकाट
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