पटना : बिहार के मुख्यमंत्री और जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतीश कुमार ने प्रधानमंत्री की डिग्री के मुद्दे को लेकर विवाद को ‘‘नॉन इश्यू’ बताते हुए आज कहा कि इस संबंध में दिल्ली के मुख्यमंत्री से माफी मांगने को कहने के बजाए भाजपा को पहले बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान कही गयी बातों पर खेद व्यक्त करना चाहिए.
पटना के एक अणे मार्ग में आज आयोजित जनता दरबार के बाद पत्रकारों द्वारा भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह और केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बीए और एमए की डिग्री को प्रदर्शित करते हुए दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से इसको लेकर माफी मांगने से उत्पन्न विवाद के बारे में पूछे जाने पर नीतीश ने कहा, ‘‘मेरे लिए यह ‘‘नॉन इश्यू’ लेकिन, भाजपा नेताओं को केजरीवाल से माफी मांगने से पहले बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान की गयी टिप्पणियों के लिए खेद व्यक्त करना चाहिए.’
नीतीश का इशारा चुनाव के दौरान मोदी द्वारा की गयी ‘डीएनए’ वाली टिप्पणी और अन्य केंद्रीय मंत्रियों के बयानों की ओर था. उन्होंने कहा, ‘‘वर्तमान में देश की राजनीति में व्यक्तिगत आक्षेप का दौर चल रहा है, यह अच्छी बात नहीं है. नीतिगत चर्चा होनी चाहिए. मैं चाहता हूं कि राजनीति सिद्धांतों पर हो, लेकिन भाजपा का बयान हमेशा व्यक्तिगत होता है.
धनबाद में शराबबंदी कार्यक्रम में भाग लेने के संदर्भ में मुख्यमंत्री ने कहा कि हमें कोई बुलायेगा तो हम वहां जायेंगे. शराबबंदी का एक माहौल बन रहा है. हम जाकर लोगों के मनोबल को बढ़ायेंगे तथा उनका उत्साह बढ़ायेंगे.
आगामी 21 मई को बुद्ध पूर्णिमा को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ नेपाल के लुंबिनी जाने के जाने के संदर्भ में पूछे गये एक प्रश्न पर नीतीश ने कहा कि नेपाल से प्राप्त आमंत्रण को हमने मंतव्य के लिये विदेश मंत्रालय को भेज दिया है. अब तक विदेश मंत्रालय से कोई सूचना नहीं आयी है.