पटना : पटना हाईकोर्ट ने दारोगा बहाली की मुख्य परीक्षा के रिजल्ट को अवैध घोषित करते हुए नये सिरे से नियमानुसार चयन प्रक्रिया का रिजल्ट प्रकाशित करने का आदेश दिया है. न्यायमूर्ति शिवाजी पांडेय की एकलपीठ ने रमेश कुमार व अन्य द्वारा दायर रिट याचिका पर बुधवार को यह आदेश दिया.
हाईकोर्ट ने कहा है कि बिहार पुलिस अवर सेवा भर्ती आयोग द्वारा आयोजित मुख्य परीक्षा के रिजल्ट के प्रकाशन में अपारदर्शिता बरती गयी है, जो कानूनन अवैध है. ऐसी स्थिति में आयोग नये सिरे से संबंधित नियमों का पालन करते हुए मुख्य परीक्षा का रिजल्ट प्रकाशित करे.
हाईकोर्ट ने आदेश दिया है कि प्रश्नपत्र का मॉडल उत्तर पत्र आयोग अपनी वेबसाइट पर अपलोड कर मुख्य परीक्षा के अभ्यर्थियों से आपत्ति आमंत्रित करे. आपत्ति आने पर एक्सपर्ट कमेटी गठित कर मॉडल उत्तर पर आधारित आपत्तियों का निराकरण करे. आपत्तियों के निराकरण के बाद मेधावार, आरक्षण नियमों का पालन करते हुए आयोग नये सिरे से मुख्य परीक्षा का रिजल्ट प्रकाशित करे.
हर आरक्षित कैटेगरी का अलग-अलग कट ऑफ अंक निर्धारित कर आयोग वेबसाइट पर प्रकाशित करे. महिला उम्मीदवारों को सुप्रीम कोर्ट के फैसलों से तय मानदंड के अनुसार आरक्षण का लाभ दिया जाये. यदि कोई अभ्यार्थी अपने उत्तर पत्र (ओएमआर शीट) की कार्बन कॉपी सूचना के अधिकार के तहत मांग करे तो आयोग उसे उपलब्ध कराने की व्यवस्था करे, इसमें आनाकानी नहीं करे .
क्या है मामला
गौरतलब है कि दारोगा पद के लिए कुल 1717 रिक्तियों पर नियुक्ति करने के लिए पुलिस अवर सेवा आयोग ने 22 जुलाई, 2018 को मुख्य परीक्षा ली गयी थी. इसमें 29,359 अभ्यर्थी शामिल हुए. मुख्य परीक्षा में 10,161 अभ्यर्थी सफल घोषित हुए.
करीब 195 अभ्यर्थियों ने रिट याचिका दायर कर आयोग द्वारा मनमानी और बहाली प्रक्रिया में पारदर्शिता की कमी की शिकायत करते हुए मुख्य परीक्षा के परिणाम को निरस्त करने के लिए रिट याचिका दायर किया था. पांच सितंबर, 2018 को हाईकोर्ट ने नियुक्ति प्रक्रिया के अंतिम रिजल्ट के प्रकाशन पर रोक लगा दी थी.
बिहार पुलिस अवर सेवा आयोग ने कहा, कोर्ट ने रद्द नहीं किया है रिजल्ट
पटना : बिहार पुलिस अवर सेवा आयोग पटना हाईकोर्ट के आदेश को अपने खिलाफ नहीं मान रहा है. आयोग का कहना है कि हाईकोर्ट ने बुधवार को दिये अपने आदेश में दारोगा बहाली परीक्षा का रिजल्ट रद्द नहीं किया है. कुछ बिंदुओं का निस्तारण करने के बाद ही रिजल्ट जारी करने का आदेश दिया है. आयोग के ओएसडी अशोक प्रसाद ने बताया कि अभ्यर्थियों ने जो याचिका दायर की थी उसका निस्तारण किया है.
हाईकोर्ट ने फैसला दिया है कि मुख्य परीक्षा के मॉडल आंसर वेबसाइट पर अपलोड किये जाये. अभ्यर्थियों द्वारा आरटीआई के तहत मांगी गयी ओएमआर शीट की कॉपी उनको दी जाये. कट आॅफ जारी किया जाये. इन सभी बिंदुओं का निस्तारण करने के बाद ही रिजल्ट जारी किया जाये. कोर्ट के आॅर्डर की कॉपी अभी किसी को नहीं मिली है. यह सोमवार को मिलेगी. उन्होंने कहा कि हाईकोर्ट ने पूर्व में परीक्षा के परिणाम पर रोक लगाने के दौरान ही कहा था कि आयोग शारीरिक परीक्षा जारी रखे, लेकिन अंतिम परिणाम कोर्ट के आदेश के बाद ही जारी करे.
