Bihar Election Express: मुजफ्फरपुर. बिहार विधानसभा चुनाव में क्षेत्र की हकीकत जानने के लिए प्रभात खबर इलेक्शन एक्सप्रेस अपने अभियान के क्रम में शनिवार को बोचहां विधानसभा क्षेत्र में पहुंचा. चौपाल से पूर्व कई चौक-चौराहों पर स्थानीय लोगों से संवाद कर उनकी समस्याएं जानी गयी और अब तक हुए क्षेत्र के विकास के बारे में उनकी राय ली गयी. कई लोगों ने कहा कि वर्तमान विधायक क्षेत्र में विकास कर रहे हैं तो कई लोगों ने पंचायत से लेकर गांवों तक की समस्याएं रखी. विधान सभा क्षेत्र के तीन चौक के पास संवाद में लोगों ने क्षेत्र में लंबित कार्यों की चर्चा की. इसके बाद जीरो माइल चौक स्थित एक विवाह भवन में चौपाल कार्यक्रम का आयोजन कि या गया. जिसमें विभिन्न दलों के नेता और क्षेत्र की जनता शामिल हुई. यहां राजद नेता उमाशंकर राय ने विधायक के कार्यों से जुड़े जनता के सवालों का जवाब दिया. भाजपा नेता नवनीत कुमार, जदयू नेता अनीष शाही और लोजपा नेता अनिल झा ने भी पूछे गये सवालों का जवाब दिया.

आनन-फानन में कई योजनाओं का शिलान्यास
जनसुराज नेता लक्ष्मण पासवान ने जनसुराज की योजनाओं और नीति यों के बारे में लोगों को बताया. वहीं भाकपा माले के रामबालक सहनी ने एनडीए सरकार में गरीबों की उपेक्षा की बात कही. इस दौरान उपस्थित जनता ने पक्ष और विपक्ष दोनों से सवाल किया. राजद नेता से लोगों ने शेखपुर और शहबाजपुर में सड़क और नाला निर्माण नहीं होने का कारण पूछा. भाजपा और जदयू से लोगों ने एसकेएमसीएच की बदहाल व्यवस्था पर सवाल रखा. पक्ष और वि पक्ष के नेताओं से लोगों ने यह भी पूछा कि जीरोमाइल चौक पर भगत सिंह की प्रति मा लगी है, लेकि न आज तक पक्ष और विपक्ष के नेताओं ने पेयजल की व्यवस्था नहीं की. भगत सिंह की प्रतिमा सिर्फ राजनेताओं के माला पहनाने के काम आती है. शहीद के सम्मान में कोई व्यवस्था नहीं की जाती. शाहबाजपुर के लोगों ने विधायक प्रतिनिधि से पूछा कि जब चुनाव नजदीक है तो आनन-फानन में कई योजनाओं का शिलान्यास किया गया. आखिर इसका निर्माण कब होगा. यह काम पहले क्यों नहीं हुआ. विधायक प्रतिनिधि से अधिकतर लोगों ने सवाल किया कि बोचहां और मुशहरी प्रखंड में भ्रष्टाचार कायम है. बिना रिश्वत के कोई काम नहीं होता.
नल-जल, सड़क और पेंशन बड़ी समस्या
प्रभात खबर इलेक्शन एक्सप्रेस की टीम दिन के दस बजे रोहुआ हॉट पहुंची, जहां लोगों ने स्थानीय नेताओं के प्रति अपनी गहरी नाराजगी व्यक्त की.ग्रामीणों ने कहा कि चुनाव जीतने के बाद से नेताजी कभी-कभी ही नजर आते हैं. स्थानीय निवासियों ने बताया कि उनके क्षेत्र की टूटी हुई सड़कें आज तक नहीं बनी हैं, और बरसात में पानी लग जाता है, जिससे आवागमन मुश्किल हो जाता है. गनौर महता और इंद्रदेव पासवान ने कहा कि नल-जल योजना केवल दिखावा है. नल से एक बूंद भी पानी नहीं आ रहा है और उन्हें बीस रुपये में पानी खरीद कर पीना पड़ रहा है.वही बुजुर्गों को पेंशन योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है. महेश सहनी जैसे कई वृद्धों ने शिकायत की कि आवेदन करने पर उन्हें यह कहकर टाल दिया जाता है कि उनकी उम्र 60 साल पूरी नहीं हुई है. जनप्रतिनिधि उन्हें पांच साल बाद आने को कह रहे हैं.लोगों का कहना है कि सरकारी सुविधा के नाम पर उन्हें सिर्फ राशन मिल रहा है, अन्य कोई सरकारी लाभ नहीं मिल पा रहा है.
बरसात में सड़क पर लगता है घुटने भर पानी
इलेक्शन एक्सप्रेस की टीम जब मुशहरी ब्लॉक पहुंची, तो चौक पर महिलाओं की भारी भीड़ दिखी. महिलाओं ने बताया कि वे सरकार द्वारा रोजगार के लिए दी जा रही दस हजार की राशि का फॉर्म भरने आयी हैं.सुविधाओं के नाम पर महिलाओं का जवाब निराशाजनक था. उन्होंने एक सुर में कहा कि उन्हें केवल राशन मिल रहा है और कोई अन्य सरकारी लाभ नहीं मिल पा रहा है. पुष्पा देवी, मीनू देवी और पार्वती देवी ने पेंशन योजना पर गहरा आक्रोश व्यक्त की. पार्वती ने बताया कि वृद्धा पेंशन के लिए उनके ससुर दौड़ते-दौड़ते थक गये और अंततः उन्हें पेंशन मिले बिना ही उनकी मृत्यु हो गयी.महिलाओं ने नेताओं के वादों पर भी सवाल उठाये. उनका कहना था कि चुनाव के समय नेताजी हाथ जोड़कर सभी समस्याओं के समाधान का वादा करते हैं, लेकिन जीतने के बाद कोई सुधि नहीं लेता. सड़क के अभाव के कारण आज भी बरसात में घुटने भर पानी में चलकर जाना पड़ता है.
अपने विधायक के नाम से भी अवगत नहीं है महिलाएं
सुबह 11 बजे नरौली चौक पर एक एटीएम के पास दो दर्जन से अधिक महिलाओं की भीड़ जमा थी. प्रभात खबर इलेक्शन एक्सप्रेस की टीम ने जब उनसे बातचीत की, तो गुड्डी देवी, समीना खातून और मुन्ना महतो ने बताया कि वे सरकार द्वारा रोजगार के लिए भेजी जा रही दस हजार की राशि खाते में आयी है या नहीं, यह चेक करने के लिए एटीएम पर आयी हैं. महिलाओं से जब स्थानीय विधायक का नाम पूछा गया तो वह अपने विधायक को पहचानती भी नहीं है. महिलाओं ने बताया कि आज भी उनके क्षेत्र में बुनियादी सुविधाओं की भारी कमी है. सड़क और पानी की समस्या जस की तस बनी हुई है. खासकर गर्मी बढ़ने पर पानी की दिक्कत और बढ़ जाती है. इसके अलावा, दर्जनों बुजुर्गों को वृद्धा पेंशन नहीं मिल रही है, और जिन्होंने फॉर्म भरा है, उन्हें आज भी सरकारी दफ्तरों के चक्कर लगाने पड़ रहे हैं.

