Madhepura News: मधेपुरा जिला के कोल्हायपट्टी पंचायत निवासी अनिल कुमार यादव ने मुरलीगंज थाने में दिए आवेदन में बताया कि उनकी पंचायत की 10 महिलाओं का एक श्रेणी समूह बनाकर उनसे 3500 रूपया प्रति सदस्य के हिसाब से वसूली की गई. इसके बाद उन्हें कुछ दिन इंतजार करवाया गया और लोन वितरण की तिथि देने की बात कही गई. इसी तरह जानकीनगर, कुमारखंड, खुर्दा, रघुनाथपुर पंचायत के भी कई महिलाओं से लोन देने के नाम पर रकम वसूली की गई. अनुमान है कि कुल राशि पांच लाख रुपये से अधिक है.
पीड़ितों ने सुनाई आपबीती
पीड़ितों ने बताया कि फाइनेंस कंपनी के एजेंट और शाखा प्रबंधक महिलाओं को लोन की प्रक्रिया पूरी करने के नाम पर पैसा जमा करवाते थे. कंपनी द्वारा आधार कार्ड, फोटो और बैंक पासबुक की कॉपी भी ली गई थी. पैसा जमा करने के बाद लोन देने की तारीख बताई जाती थी. लेकिन कुछ ही दिन बाद फाइनेंस कंपनी के सभी कर्मचारी और शाखा कार्यालय रातों-रात फरार हो गए. जब महिलाएं लोन की जानकारी के लिए कार्यालय पहुंचीं तो वहां ताला लटका मिला.
कार्रवाई की मांग की
इस घटना के बाद अनिल कुमार घर कोल्हापट्टी ने मुरलीगंज थाना पहुंचकर आवेदन पुलिस से कार्रवाई की मांग की. पीड़ित महिलाओं ने कहा कि उनकी गाढ़ी कमाई इस उम्मीद में दी थी कि लोन लेकर घर-परिवार और छोटे-मोटे व्यवसाय को बढ़ायेंगी, लेकिन ठगी के शिकार हो गयी.
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क्या बोले थानाध्यक्ष
थानाध्यक्ष अजीत कुमार ने कहा कि पीड़ितों का आवेदन प्राप्त हुआ है. पूरे मामले की जांच की जा रही है. पुलिस ने कंपनी और उसके कर्मचारियों के बारे में जानकारी जुटानी शुरू कर दी है. इस तरह की फर्जी फाइनेंस कंपनियों से सतर्क रहने की अपील भी की गयी है.
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