गया जी. जिले के प्रमुख सरकारी अस्पतालों में अल्ट्रासाउंड मशीनें उपलब्ध होने के बावजूद आम मरीजों को इस सुविधा का लाभ नहीं मिल पा रहा है. वर्तमान में केवल एएनएमएमसीएच में ही बुधवार और गुरुवार को आम मरीजों के लिए अल्ट्रासाउंड जांच की व्यवस्था की गयी है, जबकि अन्य अस्पतालों में या तो मशीनें खराब पड़ी हैं या तकनीकी विशेषज्ञों की कमी के कारण जांच सेवा बाधित है. स्वास्थ्य विभाग से प्राप्त जानकारी के अनुसार, शेरघाटी और टिकारी अनुमंडल अस्पताल, जेपीएन सदर अस्पताल तथा प्रभावती अस्पताल में अल्ट्रासाउंड मशीनें उपलब्ध हैं. इनमें टिकारी अनुमंडल अस्पताल की मशीन कई महीनों से खराब है. वहीं अन्य स्थानों पर मशीनें चालू अवस्था में होते हुए भी मरीजों को जांच के लिए निजी केंद्रों का रुख करना पड़ता है, जहां उन्हें मनमाने शुल्क चुकाने पड़ते हैं. निजी जांच केंद्रों पर निर्भरता और दलालों की सक्रियता स्वास्थ्य विभाग के सूत्रों के अनुसार, सरकारी अस्पतालों के इर्द-गिर्द संचालित निजी अल्ट्रासाउंड केंद्रों की भरमार है. इन केंद्रों के एजेंट या दलाल अस्पताल परिसर में सक्रिय रहते हैं और किसी भी पर्ची पर अल्ट्रासाउंड लिखा जाने पर मरीज को बहला-फुसलाकर अपने केंद्र ले जाते हैं. कई केंद्रों को बिना योग्य डॉक्टर के तकनीशियन ही चला रहे हैं, जबकि बोर्ड और पर्चियों पर सिर्फ दिखावे के लिए डॉक्टर का नाम लिखा होता है. यह भी सामने आया है कि कुछ डॉक्टर और अस्पतालकर्मी अपने चहेते जांच केंद्रों पर मरीजों को भेजने का दबाव बनाते हैं. यदि मरीज किसी अन्य केंद्र से जांच कराकर आता है, तो उसकी रिपोर्ट को गलत ठहराकर दोबारा जांच कराने के लिए मजबूर किया जाता है. इस तरह की घटनाओं से मरीज और अस्पतालकर्मियों के बीच विवाद की स्थिति भी उत्पन्न हो चुकी है. रेडियोलॉजिस्ट की कमी बनी बाधा स्वास्थ्य विभाग के डीपीएम नीलेश कुमार ने बताया कि रेडियोलॉजिस्ट के अभाव में अधिकतर सरकारी अस्पतालों में अल्ट्रासाउंड जांच संभव नहीं हो पा रही है. इस संबंध में सरकार को पत्र लिखा गया है. जैसे ही रेडियोलॉजिस्ट की नियुक्ति होती है, अल्ट्रासाउंड जांच सेवा को नियमित रूप से प्रारंभ किया जायेगा. अभी केवल स्त्री रोग विशेषज्ञ ही अपने मरीजों की आंतरिक जांच मशीन से कर पा रहे हैं. एएनएमएमसीएच में धीरे-धीरे बढ़ेगी जांच सुविधा वर्तमान में एएनएमएमसीएच में बुधवार और गुरुवार को आम मरीजों के लिए अल्ट्रासाउंड जांच की सुविधा उपलब्ध है. आने वाले समय में इस सेवा के दिनों की संख्या बढ़ाई जायेगी. स्वास्थ्य विभाग और अस्पताल प्रशासन यह सुनिश्चित करने का प्रयास कर रहे हैं कि किसी भी मरीज को अल्ट्रासाउंड जांच के लिए सरकारी अस्पताल से बाहर न जाना पड़े. डॉ केके सिन्हा, अधीक्षक, एएनएमएमसीएच
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

