कुव्यवस्था . सदर अस्पताल में दो साल से बंद है असंचारित रोेग विभाग
Advertisement
बुजुर्गों का नहीं हो पा रहा इलाज
कुव्यवस्था . सदर अस्पताल में दो साल से बंद है असंचारित रोेग विभाग सदर अस्पताल परिसर में वर्षो से असंचारित रोग विभाग बंद है. सदर अस्पताल में बुजुर्गों के इलाज के लिए सरकार के निर्देश पर वर्ष 2013 में असंचारित रोग विभाग की स्थापना की गयी थी, जिसमें बुजुर्ग मरीजों का समुचित इलाज नहीं होता […]
सदर अस्पताल परिसर में वर्षो से असंचारित रोग विभाग बंद है. सदर अस्पताल में बुजुर्गों के इलाज के लिए सरकार के निर्देश पर वर्ष 2013 में असंचारित रोग विभाग की स्थापना की गयी थी, जिसमें बुजुर्ग मरीजों का समुचित इलाज नहीं होता था. वर्ष 2014 से अधिकारियों के सामंजस्य नहीं होने के कारण बंद हो गया.
छह बीमारियों का होता था इलाज
मोतिहारी : दर अस्पताल परिसर में असंचारित रोग विभाग वर्ष 2014 से ही बंद पड़ा है. इसकी स्थापना सरकार के निर्देश पर वर्ष 2013 में की गयी थी. इसके तहत बुजुर्ग मरीजों का हर संभव इलाज यहां होना था. स्थापना के एक साल तक बेहतर काम करने वाला यह विभाग एकाएक बंद हो गया. सूत्रों की माने तो यह विभाग पूर्व में पदस्थापित अधिकारियों के आपसी खींचातानी के कारण बंद हुआ. यहां मरीजों का सुबह आठ से दोपहरण के दो बजे तक इलाज होता था.
क्यो बंद हुआ यह विभाग:
विश्वस्त सूत्रों की माने तो तत्कालिन सिविल सर्जन डॉ मीरा वर्मा, अपर मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी अरूण कुमार व डीपीओ ओमप्रकाश के बीच बेहतर समन्वय नहीं होने के कारण वर्ष 2014 में इस विभाग को बंद करना पड़ा. पूर्वी चम्पारण जिले में बुजुर्गों की संख्या करीब दस लाख है. असंचारित रोग विभाग के बंद हो जाने के कारण इस उम्र के मरीजों का बेहतर इलाज नहीं हो पा रहा है.
असंचारित रोग विभाग के तहत सदर अस्पताल में बुजुर्गों में पायी जाने वाली छह बीमारियों का इलाज होता है. इन बीमारियों में डायबिटिज, ब्लड प्रेसर, कैंसर, आईसीयू, सीसीयू व मानसिक रोग शामिल है. वहीं सिविल सर्जन डा. प्रशांत कुमार ने कहा िक मेरे आने के पूर्व से ही यह विभाग बंद था. बीते दो वर्षो से शिथिल पड़ चुके असंचारित विभाग को शीघ्र चालू करने की दिशा में प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है. इसके शुरू होने के साथ ही बुजुर्गों में होने वाले छह बीमारियों का बेहतर इलाज हो सकेगा.
क्या है असंचारित रोग
यह बीना छूआ- छूत की बीमारी है. मधुमेह, रक्तचाप, कैंसर, मानसिक रोग को इस सूची में रखा गया है. यह बीमारी बुजुर्ग लोगों में अधिक पायी जाती है. इन बीमारियों के कारण वे लोग चिड़चिड़े हो जाते है और घर के सदस्य घर में होने वाले कलह का कारण भी बुजुर्गों को मानते है.
2013 में हुई थी स्थापना
सदर अस्पताल परिसर के एक कमरे में असंचारित रोग विभाग की स्थापना वर्ष 2013 में राज्य सरकार के निर्देश पर किया गया था. स्थापना के समय डीपीओ का पदभार डॉ ओमप्रकाश को दिया गया. इनके नेतृत्व में यह विभाग करीब एक वर्ष तक बेहतर तरिके से संचालित हुआ. बाद में आपसी खीचातानी के कारण यह विभाग बंद हो गया .
Prabhat Khabar App :
देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए
Advertisement