आरा : वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय में 25 जून को आयोजित होनेवाले पांचवें दीक्षांत समारोह में स्नातक टॉपर छात्रों को गोल्ड मेडल व रैंक से वंचित किये जाने पर सवाल उठने लगा है. इसको लेकर विश्वविद्यालय की गलियारों में चर्चा का विषय बना हुआ है. 2018 में आयोजित सीनेट की बैठक में इस बात पर सहमति जतायी गयी थी कि वीकेएसयू में जब भी दीक्षांत समारोह होगा स्नातक के छात्रों को गोल्ड मेडल दिया जायेगा. इसके बावजूद सीनेट के प्रोसीडिंग को ताक पर रखकर दीक्षांत समारोह कराया जा रहा है.
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स्नातक टॉपर दीक्षांत समारोह से रहेंगे वंचित, नहीं मिलेगा कोई सम्मान
आरा : वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय में 25 जून को आयोजित होनेवाले पांचवें दीक्षांत समारोह में स्नातक टॉपर छात्रों को गोल्ड मेडल व रैंक से वंचित किये जाने पर सवाल उठने लगा है. इसको लेकर विश्वविद्यालय की गलियारों में चर्चा का विषय बना हुआ है. 2018 में आयोजित सीनेट की बैठक में इस बात पर […]
इसको लेकर स्नातक के छात्रों में काफी आक्रोश है. छात्रों ने बताया कि वीकेएसयू दीक्षांत समारोह के नाम पर सिर्फ अपना कोरम पूरा कर रहा है. एक तरफ विश्वविद्यालय पीजी के टॉपरों को गोल्ड मेडल व रैंक सर्टिफिकेट दे रहा है. वहीं दूसरी ओर स्नातक के छात्रों को बाहर का रास्ता दिखाकर विश्वविद्यालय छात्रों के साथ भेदभाव कर रहा है. पीजी सत्र 2013-15,2014-16 व 2015-17 के छात्रों को जब दीक्षांत समारोह में शामिल किया जा रहा है.
तब स्नातक सत्र 2013-15,2014-16 व 2015-17 के छात्रों को इससे क्यों वंचित किया जा रहा है? यह बात समझ से परे है. दीक्षांत समारोह के लिए हर रोज प्रशासनिक भवन में बैठकों का दौर जारी है. इसके लिए कई कमेटियां भी बनायी गयी हैं लेकिन दुभार्ग्य की बात है कि किसी भी कमेटी ने स्नातक के छात्रों को गोल्ड मेडल व रैंक सर्टिफिकेट देने के लिए आवाज तक नहीं उठायी.
इनके नाम पर दिया जाता था स्नातक में गोल्ड मेडल
वर्ष 2003, 2004 व 2005 के स्नातक उत्तीर्ण टॉपरों को चार श्रेणियों में गोल्ड मेडल व रैंक सर्टिफिकेट दिया चुका है. नाम का खुलासा नहीं करते हुए वीकेएसयू के एक शिक्षक ने बताया कि बेस्ट कला संकाय ग्रेजुएट का गोल्ड सच्चिदानंद सिन्हा मेमोरियल, बेस्ट साइंस ग्रेजुएट का गोल्ड जगजीवन राम मेमोरियल, बेस्ट वाणिज्य का गोल्ड हर प्रसाद दास जैन मेमोरियल व बेस्ट लॉ ग्रेजुएट का गोल्ड जस्टिस भुनेश्वर प्रसाद सिंह मेमोरियल के नाम से छात्रों को दिया जाता रहा है. इसके लिए विश्वविद्यालय में पहले से फंड मौजूद है. परीक्षा विभाग कार्य से छुटकारा पाने के लिए सीधे-सीधे स्नातक के छात्रों को वंचित कर देना चाहता है.
नहीं मिल सकता है कुलाधिपति के हाथों से गोल्ड मेडल तो कुलपति ही दें छात्रों ने बताया कि विश्वविद्यालय कार्य से छुटकारा पाने के लिए दीक्षांत समारोह के नाम पर सिर्फ खानापूर्ति करना चाहता है. जब वीकेएसयू में आयोजित पूर्व के दीक्षांत समारोहों में स्नातक के टॉपरों को गोल्ड दिया जा चुका है तो इस बार क्यों नहीं? यदि कुलाधिपति के पास पीजी सत्र 2013-15,2014-16 व 2015-17 के लिए सहमति मिल चुकी है तो अब कुलपति के द्वारा ही स्नातक सत्र 2013-15,2014-16 व 2015-17 के छात्रों को गोल्ड मेडल व रैंक सर्टिफिकेट दिया जाये.
नहीं है राशि कोई सुगबुगाहट
सच्चिदानंद सिन्हा मेमोरियल, जगजीवन राम मेमोरियल, हर प्रसाद दास जैन मेमोरियल व जस्टिस भुनेश्वर प्रसाद सिंह मेमोरियल के फंड की राशि कहां है. इसका कोई अता पता नहीं है. विश्वविद्यालय के वित्त विभाग का यह दायित्व बनता है कि इस फंड के बारे में कुलपति को अवगत कराये लेकिन प्रशासनिक भवन के अधिकारी सिर्फ बैठक ही कर रहे हैं. स्नातक के छात्रों को गोल्ड न देखकर उनके भविष्य से खेला जा रहा है.
क्या कहते हैं पूर्व कुलपति
पूर्व कुलपति डॉ आइसी कुमार ने बताया कि वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय अपने दायित्वों से भाग रहा है. 2018 में आयोजित सीनेट की बैठक में पूर्व कुलपति डॉ सैयद मुमताजुद्दीन के द्वारा इस पर सहमति जतायी गयी थी कि दीक्षांत समारोह में स्नातक के छात्रों को गोल्ड मेडल दिया जायेगा. सीनेट में यह मामला मेरे द्वारा उठाया गया था लेकिन अब विश्वविद्यालय के अधिकारी ही हम दोनों कुलपतियों के सुझाव को ठंडे बस्ते में डाल दे रहे हैं तो अब क्या किया जा सकता है?
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