सुलतानगंज ग्रीन फील्ड हवाई अड्डा निर्माण के लिए 931 एकड़ भूमि के मुआवजे की प्रशासनिक स्वीकृति मिलने के बाद स्थानीय लोगों में खुशी की लहर दौड़ गयी है. अनुमानित मुआवजा राशि 472 करोड़ 72 लाख रुपये निर्धारित की गयी है. प्रभात खबर से बातचीत में स्थानीय नागरिकों ने बताया कि मंत्री परिषद की बैठक में स्वीकृति मिलने से हवाई अड्डा निर्माण का रास्ता साफ हो गया है. क्षेत्र में विकास के द्वार खुलने की उम्मीद जग गयी हैं. स्थानीय लोगों और पार्षदों ने कहा कि सुलतानगंज में एयरपोर्ट बनने से रोजगार, उद्योग और पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा. एयरपोर्ट के समीप चौड़ी सड़क है, जो बिहार और झारखंड को जोड़ती है. जिला मुख्यालय नजदीक होने से यातायात आसान होगा. ऋषिकुंड और मुंगेर स्थित विश्व योग महाविद्यालय जैसे धार्मिक और शैक्षणिक स्थल एयरपोर्ट से लाभार्थ होंगे. हवाई अड्डा बनने से आर्थिक दृष्टि से क्षेत्र को बड़ा लाभ होगा. अजगैवीनाथ मंदिर और जाह्नवी गंगा जैसी धार्मिक और सांस्कृतिक धरोहर, एयरपोर्ट की निकटता से तीर्थयात्रियों को आकर्षित करेगा. होटल, रेस्टोरेंट व छोटे व्यवसाय आर्थिक रूप से मजबूत होंगे. आने वाले वर्षों में पर्यटन व व्यापार में वृद्धि होने से स्थानीय युवाओं के लिए रोजगार के अवसर बढ़ेंगे. स्थानीय नागरिक संजीव कुमार, मिथिलेश कुमार चंद्रवंशी, सुजीत कुमार, डॉ राजेंद्र मोदी ने बताया कि एयरपोर्ट बनने से सिल्क सिटी और फूड प्रोसेसिंग जैसे रोजगारोन्मुख उद्योग को बढ़ावा मिलेगा. श्रावणी मेला में तीर्थ यात्रियों की संख्या सामान्य दिनों में बढ़ेगी. अजगैवीनाथ मंदिर और जाह्नवी गंगा के नजदीक होने से सरकार को आर्थिक लाभ होगा. पार्षद नवीन कुमार बन्नी, संजय कुमार चौधरी, विभूति कुमार विकल, सुभाष कुमार ने कहा कि सुलतानगंज में हवाई अड्डा बनने से चतुर्दिक विकास होगा. उद्योग, पर्यटन, शिक्षा और रोजगार के क्षेत्र में नये अवसर मिलेंगे. लोगों को उम्मीद है कि यह परियोजना क्षेत्र के सामाजिक-आर्थिक विकास में मील का पत्थर साबित होगी और आने वाले वर्षों में सुलतानगंज राज्य के प्रमुख हवाई अड्डा केंद्र के रूप में देखा जायेगा.
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