दाउदनगर. त्रिस्तरीय पंचायती राज जनप्रतिनिधियों एवं ग्राम कचहरी के प्रतिनिधियों के अधिकारों में की जा रही कटौती के खिलाफ मुखिया संघ द्वारा प्रखंड सह अंचल कार्यालय के समक्ष प्रदर्शन किया गया. पंचायती राज जन प्रतिनिधियों अधिकारों में कटौती बंद करने समेत अन्य नारे लगाये. मुखिया प्रतिनिधि नागेंद्र सिंह यादव ने कहा कि सरकार पंचायती राज जनप्रतिनिधियों के अधिकारों में लगातार कटौती कर रही है. इसके खिलाफ लगातार संघर्ष जारी है. सरकार द्वारा समस्या का समाधान करने का सिर्फ आश्वासन दिया जा रहा है, लेकिन कुछ हो नहीं रहा है. पंचायत सरकार भवन का टेंडर कर दिया गया. मनरेगा की मजदूरी भुगतान नहीं हो पा रही है. उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि पदाधिकारियों द्वारा जियो टैग और ऑन गोइंग के नाम पर परेशान किया जा रहा है. योजना को सुचारू तरीके से चलने नहीं दिया जा रहा है. बिहार के पदाधिकारियों द्वारा पंचायती राज जनप्रतिनिधियों के अधिकार में कटौती की जा रही है. प्रदर्शन के बाद प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री, केंद्रीय पंचायती राज मंत्री, केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्री, कानून एवं न्याय मंत्री, उपमुख्यमंत्री एवं पंचायती राज मंत्री के नाम से संबोधित एक ज्ञापन सीओ को दिया गया. ज्ञापन में कहा गया है कि बिहार में पंचायती राज व्यवस्था के प्रति सकारात्मक दृष्टिकोण रखने की आवश्यकता है. 73वें संविधान संशोधन से मिली शक्तियों का लगातार ह्रास हो रहा है. प्रशासनिक हस्तक्षेप अधिकारों में कटौती को लेकर त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधि अपने आप को उपेक्षित महसूस कर रहे हैं .गांव की निर्वाचित सरकार स्वतंत्र रूप से काम करने में अपने आप में अक्षम हो चुकी है.
ज्ञापन में मांगों से दिलाया ध्यान
16 सूत्री मांग करते हुए 73 वें संविधान संशोधन से पंचायती राज संस्थाओं ग्राम पंचायत आदि को मिले शक्तियों एवं प्रदत्त संविधान के 11 वीं सूची में शामिल 29 विषयों पर प्रतिनिधायन के संबंध में नया संकल्प जारी करने, सूचकांक के आधार पर पंचायती राज व्यवस्था को मजबूत करने के लिए आवश्यक कार्रवाई करने, मनरेगा की समीक्षा करते हुए बजट को बढ़ाने व मजदूरी व सामग्री का भुगतान समय से करने, वार्ड सदस्यों को नल जल का पूरा प्रबंध, संचालन, मरम्मति आदि का काम देने, जन्म मृत्यु प्रमाण पत्र, सामाजिक सुरक्षा पेंशन आदि की समीक्षा करते हुए पंचायत की भूमिका को मजबूत करने, केंद्रीय वित्त आयोग एवं राज्य वित्त आयोग संपूर्ण सिफारिश को लागू करने, पंचायतों में विवाह भवन का निर्माण कराने, सोलर स्ट्रीट लाइट योजना की समीक्षा कर प्रक्रिया में बदलाव लाने, राज्य योजना मद से अतिरिक्त राशि मुहैया कराने, पंचायतों के लिए राजस्व संग्रहण के लिए नियमावली बनाने, पंचायत प्रतिनिधि की सुरक्षा आर्म्स लाइसेंस आदि के संबंध में ठोस निर्णय लेने, नियत भत्ता-मानदेय तीन गुणा करने, पंचायत सरकार भवन का निर्माण ग्राम पंचायत के माध्यम से कराने व निर्माण एजेंसी द्वारा किए जा रहे कार्य का अनुश्रवण पंचायत के माध्यम से कराने समेत अन्य मांगे की गई है.प्रदर्शन में ये थे शामिल
प्रदर्शन में जिला पार्षद अमरेंद्र उर्फ अरविंद यादव, मुखिया कौशल्या देवी, अमृता देवी, अंजुम आरा, शशि भूषण सिंह, प्रदीप सिंह, राजकुमार राम, रमेश प्रसाद, मुखिया प्रतिनिधि नागेंद्र सिंह, राजु कुमार, मो मिनहाज, पंचायत समिति सदस्य विनय राम, लाल बाबू कुमार, उप मुखिया कुंती कुमारी, श्रीनिवास कुमार, वार्ड सदस्य धर्मेंद्र कुमार, ओम प्रकाश सिंह, मेघनाथ कुमार आदि प्रमुख रूप से शामिल थे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है