Dev Deepawali 2025: देव दीपावली हर साल कार्तिक पूर्णिमा के दिन मनाई जाती है. ऐसा कहा जाता है कि इस दिन देवता स्वयं गंगा में स्नान करने के लिए पृथ्वी पर आते हैं. वाराणसी में इस पर्व की रौनक सबसे खास होती है. लाखों दीप जलाकर गंगा घाट को सजाया जाता है और भगवान शिव की आरती से पूरा वातावरण शिवमय हो जाता है.
भगवान शिव के शक्तिशाली मंत्र
देव दीपावली के दिन अगर आप भगवान शिव के इन मंत्रों का जाप करते हैं, तो इससे मन की शांति मिलती है, पापों का नाश होता है और जीवन में सकारात्मकता बढ़ती है.
ॐ नमः शिवाय
यह पंचाक्षरी मंत्र भगवान शिव का सबसे पवित्र और शक्तिशाली मंत्र माना जाता है. इसका जाप करने से मन शांत होता है और सभी संकट दूर होते हैं.
महामृत्युंजय मंत्र
“ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगंधिं पुष्टिवर्धनम्।
उर्वारुकमिव बन्धनान् मृत्योर्मुक्षीय माऽमृतात्॥”
यह मंत्र मृत्यु भय को दूर करता है और रोगों से मुक्ति दिलाता है.
रुद्र गायत्री मंत्र
“ॐ तत्पुरुषाय विद्महे महादेवाय धीमहि।
तन्नो रुद्रः प्रचोदयात्॥”
इस मंत्र के जाप से बुद्धि और आत्मबल में वृद्धि होती है.
पूजन विधि
सबसे पहले प्रातःकाल स्नान कर शुद्ध वस्त्र पहनें.
भगवान शिव की मूर्ति या शिवलिंग पर गंगाजल, दूध, शहद और बेलपत्र चढ़ाएं.
दीप जलाकर मंत्रों का 108 बार जाप करें.
अंत में आरती करें और परिवार की सुख-शांति की प्रार्थना करें.
मंत्र जाप से ये होगा लाभ
देव दीपावली के दिन भगवान शिव के इन मंत्रों का जाप करने से ना केवल जीवन में शांति और सुख आता है बल्कि यह पुण्य फल भी प्रदान करता है. इस दिन शिव आराधना से नकारात्मक ऊर्जा समाप्त होती है और घर में सकारात्मकता का संचार होता है.
देव दीपावली के दिन भगवान शिव की पूजा क्यों की जाती है?
देव दीपावली के दिन भगवान शिव को दीपों का देव कहा जाता है. मान्यता है कि इस दिन उन्होंने त्रिपुरासुर का वध किया था, जिससे देवताओं ने प्रसन्न होकर दीप जलाए। इसलिए इस दिन शिव पूजा का विशेष महत्व है.
2025 में कब है देव दीपावली ?
इस साल 05 नवंबर को देव दीपावली मनाई जाएगी.
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