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Bhai Dooj 2025: भईया दूज पर होती है यमराज की पूजा, जानें चंद्रमा से क्या है इस त्योहार का संबंध

Bhai Dooj 2025: भाई दूज पर बहनें अपने भाइयों के माथे पर तिलक करती हैं और उनकी लंबी उम्र की कामना करती हैं. इस दिन यमराज की पूजा भी होती है. ज्योतिष के अनुसार, इस त्योहार का चंद्रमा से गहरा संबंध है, जो भावनाओं, मनोबल और संबंधों में सकारात्मक ऊर्जा लाता है.

Bhai Dooj 2025: भाई दूज दिवाली के आखिरी दिन मनाया जाता है और यह भाई-बहन के प्रेम का प्रतीक है. इस दिन बहनें अपने भाइयों के माथे पर तिलक करती हैं और उनकी लंबी उम्र, सुख-समृद्धि और खुशहाली की कामना करती हैं. इसे रक्षाबंधन की तरह ही भाई-बहन के मजबूत रिश्तों का पर्व माना जाता है. इस त्योहार के पीछे यमराज और यमुना की पौराणिक कथा भी जुड़ी हुई है.

भाई दूज 2025 का शुभ मुहूर्त

इस साल भाई दूज की तिथि 23 अक्टूबर 2025, रात 11:56 बजे से शुरू होकर 24 अक्टूबर 2025, रात 10:48 बजे तक रहेगी. इस दिन बहनें अपने भाइयों को तिलक करके उनका आशीर्वाद देती हैं. यह समय भाई-बहन के रिश्तों में प्यार और सौहार्द बढ़ाने के लिए सबसे शुभ माना जाता है.

नई ऊर्जा भरने का प्रतीक

ज्योतिष के अनुसार, भाई दूज अमावस्या के बाद की द्वितीया तिथि को मनाई जाती है, जब चंद्रमा शुक्ल पक्ष में प्रवेश कर रहा होता है. यह समय भावनाओं और रिश्तों में नई ऊर्जा भरने का प्रतीक माना जाता है. चंद्रमा को मन और भावनाओं का कारक ग्रह माना गया है, इसलिए बहन द्वारा तिलक करना केवल संस्कार नहीं, बल्कि भाई के मन, आत्मबल और जीवन में स्थिरता लाने का उपाय है.

चंद्रमा कमजोर हो तो तिलक का महत्व

अगर भाई की कुंडली में चंद्रमा कमजोर हो, तो इस दिन बहन से तिलक करवाना विशेष रूप से शुभ माना जाता है. ऐसा करने से भाई को मानसिक संतुलन और सकारात्मक ऊर्जा मिलती है. बहन का तिलक चंद्र शक्ति का प्रतीक है और इसे भाई के जीवन में शांति, समृद्धि और सौभाग्य लाने वाला माना जाता है.

भाई दूज का पर्व भाई-बहन के अटूट प्यार और विश्वास को दर्शाता है. इस दिन बहन का तिलक भाई के जीवन में सकारात्मक ऊर्जा, आत्मबल और खुशहाली लाता है, जिससे रिश्ता केवल जन्म का नहीं बल्कि आत्मिक बंधन भी बन जाता है.

ये भी पढ़ें: क्या है भाई दूज का धार्मिक महत्व, जानिए इस पर्व की पौराणिक कहानी

गोवर्धन पूजा और भैया दूज कब है?

गोवर्धन पूजा 2025 में 22 अक्टूबर, बुधवार को और भाई दूज 2025 में 24 अक्टूबर, शुक्रवार को मनाई जाएगी.

भाई दूज क्यों मनाया जाता है?

भाई दूज भाई-बहन के प्रेम का प्रतीक है और इस दिन बहनें अपने भाई की लंबी उम्र और सुख-समृद्धि की कामना करती हैं.

रक्षा बंधन और भाई दूज में क्या अंतर है?

रक्षा बंधन में बहन भाई को राखी बांधती है, जबकि भाई दूज में बहन भाई को तिलक करती है और उसके लिए भोजन या भोग तैयार करती है.

भाई दूज पर गोला क्यों दिया जाता है?

भाई दूज पर बहन अपने भाई को गोला (भोजन या उपहार) देती है, जिससे भाई का मनोबल बढ़े और उसका जीवन सुख-समृद्धि से भर जाए.

Shaurya Punj
Shaurya Punj
रांची के सेंट जेवियर्स कॉलेज से मास कम्युनिकेशन में स्नातक की डिग्री प्राप्त करने के बाद मैंने डिजिटल मीडिया में 14 वर्षों से अधिक समय तक काम करने का अनुभव हासिल किया है. धर्म और ज्योतिष मेरे प्रमुख विषय रहे हैं, जिन पर लेखन मेरी विशेषता है. हस्तरेखा शास्त्र, राशियों के स्वभाव और गुणों से जुड़ी सामग्री तैयार करने में मेरी सक्रिय भागीदारी रही है. इसके अतिरिक्त, एंटरटेनमेंट, लाइफस्टाइल और शिक्षा जैसे विषयों पर भी मैंने गहराई से काम किया है. 📩 संपर्क : [email protected]

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