Table of Contents
Delhi Election Results : दिल्ली की सत्ता पर लगातार तीन बार से आसीन आम आदमी पार्टी को 2025 के चुनाव में बीजेपी ने करारी शिकस्त दी है. अबतक परिणाम के जो रुझान सामने आए हैं, उसके अनुसार बीजेपी स्पष्ट बहुमत की ओर जा रही है. 70 में से 47 सीट पर बीजेपी को बढ़त हासिल है, जबकि आप 23 सीटों पर आगे है. कांग्रेस को एक बार फिर मुंह की खानी पड़ी है और उसका खाता अब तक नहीं खुला है. यहां बड़ा सवाल यह है कि आखिर पर्दे के पीछे वो कौन लोग या कारण थे, जिन्होंने इस चुनाव में बड़ा खेला किया है?
रेवड़ियों से नाराज हुआ मिडिल क्लास
आम आदमी पार्टी का जब 2012 में गठन हुआ तो उसने अपनी छवि इस तरह की बनाई थी जैसे वह आम आदमी यानी मिडिल क्लास की पार्टी है. आम आदमी पार्टी ने भ्रष्टाचार की बात की, महिला सुरक्षा की बात की और महंगाई की बात करके मिडिल क्लास के बीच अपनी पैठ बनाई. आम आदमी का चेहरा जल्दी ही धूमिल हो गया, जब उसने खुद को सिर्फ गरीबों की पार्टी के रूप में पेश कर दिया और रेवड़ियां बांटना शुरू कर दिया. मुफ्त पानी, मुफ्त बिजली हर महीने महिलाओं के खाते में एक हजार रुपए और अन्य योजनाओं ने मिडिल क्लास का दिल तोड़ दिया और मिडिल क्लास ने चुपचाप अरविंद केजरीवाल को बड़ी चोट दे दी है. जो आम आदमी पार्टी भ्रष्टाचार के खिलाफ अभियान चलाकर सत्ता तक पहुंची थी, उसी पार्टी के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, उपमुख्यमंत्री मनीष सिसौदिया और सत्येंद्र जैन भ्रष्टाचार के मामले में जेल गए और चुनाव में मुंह की खाई. अरविंद केजरीवाल के शीशमहल की खबर वायरल होने से जनता का मोहभंग हो गया और उन्हें यह लगने लगा कि केजरीवाल को दिल्ली की चाबी सौंपकर उनसे गलती हो गई, जिसका भूल सुधार उन्होंने इस चुनाव में कर दिया.
मोदी की गारंटी से बीजेपी ने मध्यम वर्ग को लुभाया

दिल्ली का मध्यम वर्ग आप से नाराज है, इस बात को बीजेपी समझ गई थी और उसने इस बात का फायदा उठाते हुए मिडिल क्लास को सांत्वना देते हुए उनके साथ खड़े होने का मजबूती से वादा किया. बीजेपी ने यह बात की आम लोगों के मन में डाल दी कि हम किसी कल्याणकारी योजना को बंद नहीं करेंगे, लेकिन हम मिडिल क्लास के लिए काम करेंगे. साथ ही भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाने की बात भी कही गई, ताकि मध्यम वर्ग को राहत मिले. इसके साथ ही बीजेपी ने आठवें वेतन आयोग के गठन की घोषणा की , जिससे निश्चित तौर पर मध्यम वर्ग को फायदा होगा. बजट में भी सरकार ने मिडिल क्लास को राहत दी और उनके मन में यह बात पुख्ता कर दी कि डबल इंजन की सरकार से दिल्ली वासियों को फायदा होगा. इंडियन एक्सप्रेस के अनुसार दिल्ली की आबादी का लगभग 68 प्रतिशत मध्यम वर्ग से आता है, जिसे बीजेपी ने साध लिया.
नागरिक सुविधाओं के अभाव में आप से उठा जनता का भरोसा
2020 के चुनाव में जब आम आदमी पार्टी चुनाव जीतकर आई, तो उसे अति विश्वास हो गया. आप ने जनता की जरूरतों की उपेक्षा करना शुरू कर दिया और आम राजनीतिक पार्टियों की तरह सिर्फ अपना हित साधने में जुटी रही. जनता के घरों में पानी नहीं आ रहा था और केजरीवाल अपनी महत्वाकांक्षा पूरी कर रहे थे. सड़कें खराब थी, लेकिन केजरीवाल की सरकार ने उनपर ध्यान नहीं दिया. खराब सड़कें और नालियों की दुर्दशा से जनता परेशान रही. सड़कों पर कचरे का ढेर लगा रहा रहता था, क्योंकि कचरे के निदान के लिए कोई प्रबंधन काम नहीं कर रहा था.
इसे भी पढ़ें : Delhi Elections Results : चुनाव परिणामों में महिलाएं फिसड्डी, शिखा राय और रेखा गुप्ता को छोड़कर बाकी सभी प्रत्याशी पिछड़ीं
कौन हैं वो लोग जिन्हें सेना के विमान में कैदियों की तरह भरकर अमेरिका ने भारत वापस भेजा ?
विभिन्न विषयों पर एक्सप्लेनर पढ़ने के लिए क्लिक करें