31.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

लेटेस्ट वीडियो

नक्सलियों पर नियंत्रण

सिर्फ इस साल की बात करें, तो नौ फरवरी, 20 मार्च और 30 मार्च को छत्तीसगढ़ में नक्सलियों के खिलाफ तीन ऑपरेशन किये गये, जिनमें 79 नक्सली मारे गये. इस साल अभी तक कुल मिलाकर 135 नक्सली मुठभेड़ में मारे जा चुके हैं.

Audio Book

ऑडियो सुनें

जिस छत्तीसगढ़ को हाल के वर्षों तक देश में सर्वाधिक नक्सल प्रभावित राज्य बताया जाता रहा है, वहां पिछले कुछ समय से सुरक्षाबलों के सघन अभियानों के साथ योजनाबद्ध विकास कार्यक्रमों ने नक्सलियों को लगभग हाशिये पर ला दिया है. अगले साल मार्च तक देश को नक्सल मुक्त करने की मुहिम के तहत फिलहाल छत्तीसगढ़ के बस्तर रेंज को नक्सल मुक्त करने पर जोर दिखाई देता है. इस सदी के पहले दशक में नक्सलियों की ताकत का व्यापक विस्तार हुआ था, लेकिन अब छत्तीसगढ़ में नक्सलियों की अनुमानित संख्या चार-पांच हजार के आसपास सिमट गयी हो, तो आश्चर्य नहीं. तथ्य यह है कि सरकारी सक्रियता से नक्सलियों का आंकड़ा सिमटने के साथ-साथ स्थानीय लोग भी उनके भय से मुक्त हुए हैं.

सिर्फ इस साल की बात करें, तो नौ फरवरी, 20 मार्च और 30 मार्च को छत्तीसगढ़ में नक्सलियों के खिलाफ तीन ऑपरेशन किये गये, जिनमें 79 नक्सली मारे गये. इस साल अभी तक कुल मिलाकर 135 नक्सली मुठभेड़ में मारे जा चुके हैं. विगत 30 मार्च को सुकमा में सुरक्षाबलों के ऑपरेशन में 18 नक्सली मारे गये, जिनमें 11 महिलाएं थीं. उसके अगले ही दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के छत्तीसगढ़ दौरे से ठीक पहले बीजापुर में 50 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया, जिनमें 10 महिलाएं थीं. सिर्फ यही नहीं कि इतनी बड़ी संख्या में नक्सलियों के आत्मसमर्पण करने की यह विरल घटना है, बल्कि हथियार सौंपने वालों में अनेक नक्सली शीर्ष स्तर के थे. जबकि अभी तक ज्यादातर निचले स्तर के नक्सली ही आत्मसमर्पण का रास्ता चुनते थे.

सरकार की नीति है कि आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों का पुनर्वास कर उन्हें मुख्यधारा से जोड़ा जाएगा. सुरक्षा बलों का ऑपरेशन कितना व्यापक है, इसका पता इसी से चलता है कि शनिवार को सुकमा में हुए ऑपरेशन के दो दिन बाद ही बस्तर रेंज में 25 लाख के इनाम वाली एक महिला नक्सली मुठभेड़ में मारी गयी. निश्चित रूप से सुरक्षा बलों की कार्रवाई ज्यादा बड़ी और अनवरत है. लेकिन नक्सल प्रभावित इलाकों में बड़े पैमाने पर विकास कार्य भी किए जा रहे हैं. ऐसे अनेक गांव हैं, जहां कई दशकों के बाद बिजली और सड़क पहुंची है. वैसे दूरस्थ और दुर्गम इलाकों में दूरसंचार और बैंकिंग व्यवस्था भी मजबूत की जा रही है. इससे भी स्थानीय लोगों का सरकार पर भरोसा बढ़ा है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

संबंधित ख़बरें

Trending News

जरूर पढ़ें

वायरल खबरें

ऐप पर पढें
होम आप का शहर
News Snap News Reel