15.1 C
Ranchi

लेटेस्ट वीडियो

सरकारी निष्क्रियता, पराली जलाना दिल्ली में लोगों को मार रहा है : कोर्ट

नयी दिल्ली : दिल्ली उच्च न्यायालय ने आज कहा कि पंजाब में सरकारी निष्क्रियता और पराली जलाने का चलन दो करोड़ दिल्लीवासियों के जीवन के तीन वर्ष कम करने के लिए दोषी है जो ‘नरसंहार’ और ‘हत्या’ के समान है. न्यायमूर्ति बदर दुर्रेज अहमद और न्यायमूर्ति आशुतोष कुमार की पीठ ने कहा, ‘‘यह हमें मार […]

नयी दिल्ली : दिल्ली उच्च न्यायालय ने आज कहा कि पंजाब में सरकारी निष्क्रियता और पराली जलाने का चलन दो करोड़ दिल्लीवासियों के जीवन के तीन वर्ष कम करने के लिए दोषी है जो ‘नरसंहार’ और ‘हत्या’ के समान है.

न्यायमूर्ति बदर दुर्रेज अहमद और न्यायमूर्ति आशुतोष कुमार की पीठ ने कहा, ‘‘यह हमें मार रहा है.” उन्होंने कहा कि इस गंभीर हालात से छह करोड़ से ज्यादा जीवन वर्ष बर्बाद हो रहे हैं या यूं कहें तो इससे दस लाख मौतें होती हैं. पीठ ने यह भी कहा कि क्या वोट देने वालों के जीवन से ज्यादा महत्वपूर्ण वोट होते हैं. उन्होंने एक साप्ताहिक में प्रकाशित हालिया पर्यावरण अध्ययन का जिक्र करते हुए यह गंभीर टिप्पणी की.

पीठ ने कहा, ‘‘रिपोर्ट के अनुसार दिल्ली जैसे किसी शहर में वायु प्रदूषण आपके जीवन के अपेक्षित वर्षों से तीन वर्ष कम कर देता है. दिल्ली में दो करोड़ से ज्यादा की आबादी है. इसलिए छह करोड़ जीवन वर्ष बर्बाद हो रहे हैं और खत्म हो रहे हैं. यह दस लाख मौतों के बराबर हैं. यह दस लाख मौतों के समान है. अगर यह हत्या नहीं है, तो क्या है? यह नरसंहार है.”
पीठ के मुताबिक, ‘‘सरकारी निष्क्रियता जीवन कम होने के लिए दोषी है. मामले की भयावहता को समझिए. कुछ आमूल-चूल किये जाने की जरुरत है. क्या वोट बैंक ज्यादा महत्वपूर्ण है या वोट देने वाला महिला या पुरुष.” उन्होंने कहा, ‘‘पंजाब (पराली जलाना) हमें मार रहा है.” अदालत ने कहा कि विभिन्न खबरों के मुताबिक दिल्ली को वायु गुणवत्ता के मामले में भारत में सबसे खराब शहर बताया गया है.
अदालत के मुताबिक खराब गुणवत्ता वाली हवा न केवल लोगों को मारती है बल्कि सांस संबंधी बीमारियों भी बढाती है. पिछले महीने वायु प्रदूषण के मामले में सुनवाई करते हुए उच्च न्यायालय ने उत्तर प्रदेश, पंजाब, राजस्थान और हरियाणा राज्यों से पराली जलाने पर रोक लगाने को कहा था. फसलों के अवशेषों को जलाने की प्रथा बंद करने के राष्ट्रीय हरित अधिकरण के आदेशों के बाद भी राष्ट्रीय राजधानी हर साल धुंध का प्रकोप झेलती है.

Prabhat Khabar Digital Desk
Prabhat Khabar Digital Desk
यह प्रभात खबर का डिजिटल न्यूज डेस्क है। इसमें प्रभात खबर के डिजिटल टीम के साथियों की रूटीन खबरें प्रकाशित होती हैं।

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

संबंधित ख़बरें

Trending News

जरूर पढ़ें

वायरल खबरें

ऐप पर पढें
होम आप का शहर
News Snap News Reel