वाशिंगटन: अमेरिका ने पाकिस्तान को कडा संदेश देते हुए आज कहा कि इस्लामाबाद अपने यहां के आतंकी नेटवर्कों को ‘अवैध ठहरा कर, बाधित करके और तबाह करके’ अपनी सरजमीं से गतिविधियां संचालित करने वाले आतंकी समूहों के खिलाफ अधिक प्रभावी ढंग से कार्रवाई कर सकता है तथा उसे अवश्य करनी चाहिए.
पठानकोट में वायुसेना अड्डे पर आतंकी हमले को ‘भारत की ओर से लंबे समय से झेले जा रहे अक्षम्य आतंकवाद की एक और मिसाल’ करार देते हुए ओबामा ने पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शरीफ से संपर्क साधने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सराहना की.
उन्होंने पीटीआई-भाषा से एक साक्षात्कार में कहा, ‘‘दोनों नेता इस दिशा में बातचीत को बढा रहे हैं कि क्षेत्र में हिंसक चरपमंथ और आतंकवाद का मुकाबला कैसे करना है.’ अमेरिकी राष्ट्रपति से इस साक्षात्कार के दौरान भारत-अमेरिका संबंध, आतंकवाद और पेरिस जलवायु परिवर्तन शिखर सम्मेलन के नतीजे सहित कई मुद्दों पर प्रश्न किए गए.
भारत-अमेरिका संबंध के इस सदी की निर्णायक साझेदारी होने के अपने विश्वास को फिर से प्रकट करते हुए ओबामा ने कहा कि मोदी ने मजबूत साझेदारी के लिए अपने उत्साह को साझा किया और ‘हमने मित्रता और निकटवर्ती कामकाजी संबंध विकसित कर लिया है. इसमें हमारे कार्यालयों के बीच नई सुरक्षित लाइन पर हमारी बातचीत भी शामिल हैं.’ यह पूछे जाने पर कि क्या इस संबंध ने अपनी पूर्ण क्षमता को हासिल कर लिया है तो उन्होंने कहा, ‘‘निश्चित तौर पर नहीं.
पठानकोट हमले पर ओबामा ने कहा, ‘‘हम हमले की निंदा करने, और जिंदगियों के नुकसान को रोकने के लिए लडने वाले जवानों को सलाम करने तथा पीडितों और उनके परिवारों के प्रति संवेदना प्रकट करने में भारत के साथ खडे हैं.’ उन्होंने कहा, ‘‘इस तरह की त्रासदियां इस बात को रेखांकित करती हैं कि अमेरिका और भारत को आतंकवाद से लडने में ऐसी निकटवर्ती साझेदारी को क्यों जारी रखना चाहिए.’ ओबामा का मानना है कि शरीफ ने स्वीकारा है कि पाकिस्तान में असुरक्षा उसकी खुद की स्थिरता और इस क्षेत्र के लिए खतरा है. दिसंबर, 2014 में पेशावर स्कूल नरसंहार के बाद उन्होंने सभी आतंकवादियों को निशाना बनाने का संकल्प लिया था.
उन्होंने कहा, ‘‘यह सही नीति है. इसके बाद से हमने देखा है कि पाकिस्तान ने कई ऐसे समूहों के खिलाफ कार्रवाई की. हमने देखा है कि पाकिस्तान के भीतर आतंकवाद लगातार जारी है जैसे कि उत्तर पश्चिम पाकिस्तान में विश्वविद्यालय पर हालिया हमला हुआ है.’ अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा कि उनका अब भी मानना है कि ‘पाकिस्तान अपने क्षेत्र से गतिविधियां संचालित करने वाले आतंकवादी समूहों के खिलाफ और अधिक प्रभावी ढंग से कार्रवाई कर सकता है और उसे अवश्य करनी चाहिए. ‘ उन्होंने कहा, ‘‘पाकिस्तान के पास यह दिखाने का मौका है कि वह आतंकवादी नेटवर्कों को अवैध ठहराने, बाधित करने और तबाह करने को लेकर गंभीर है. उस क्षेत्र और दुनिया भर में सुरक्षित शरणस्थलियों को बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं किया जाना चाहिए और आतंकवादियों को न्याय के जद में लाना चाहिए
