कोलकाता. बांग्ला भाषा में मोबाइल फोन पर बात करने पर मुंबई पुलिस द्वारा दक्षिण 24 परगना के बजबज थाना क्षेत्र की निवासी एक महिला को ‘बांग्लादेशी’ समझ कर हिरासत में लिये जाने की घटना प्रकाश में आयी है. घटना नवी मुंबई के शिरोना बाजार इलाके की है, जहां बजबज-1 ब्लॉक के उत्तर रायपुर पंचायत की रहनेवाली सोमा बीबी (45) को कथित तौर पर करीब 24 घंटे थाने में रखा गया. हालांकि, बजबज थाने की पुलिस के हस्तक्षेप के बाद उसे रिहा कर दिया गया. परिवार के मुताबिक, गत सात अगस्त को सोमा सड़क पर चलते हुए अपने बेटे से मोबाइल फोन पर बांग्ला भाषा में बातचीत कर रही थीं. इसी दौरान पुलिस ने रोककर पूछताछ शुरू कर दी और ‘बांग्लादेशी होने के शक’ में थाने ले आयी. परिवार का आरोप है कि बिना किसी ठोस सबूत के उन्हें घंटों पूछताछ के बाद भी छोड़ने से इनकार किया गया. सोमा के पति जाहिर जमादार और परिजन ने तुरंत बजबज थाने व उत्तर रायपुर पंचायत से संपर्क कर सभी आवश्यक दस्तावेज मुंबई पुलिस को भेजे. इसके बाद पुलिस व प्रशासनिक हस्तक्षेप से देर रात उन्हें रिहा किया गया. जानकारी के अनुसार, सोमा वर्षों से मुंबई में नौकरी करती है. उसके पति ने जनवरी में काम छोड़कर घर वापसी कर ली थी, जबकि सोमा नवी मुंबई के एक शॉपिंग मॉल में काम कर रही है. इस घटना के बाद परिवार ने उसे मुंबई से वापस लाने का फैसला किया है. परिजनों का कहना है कि इस वाकया से पूरा परिवार दहशत में है और यह घटना बांग्ला बोलने वाले प्रवासी कामगारों के लिए चिंता का विषय है.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

