कोलकाता.
तृणमूल कांग्रेस के पूर्व नेता विभाष अधिकारी ने पूरा फर्जीवाड़ा नोएडा में नहीं, बल्कि बीरभूम के नलहाटी में ही धोखाधड़ी का बीज बोया था. उस पर 2023 से कई तरह की धोखाधड़ी शुरू करने का आरोप लगा है. नोएडा पुलिस की तरफ से आरोपी से पूछताछ में यह खुलासा हुआ. आरोपी पर फर्जी थाना बना कर समानांतर प्रशासन चलाने का भी आरोप है. विभाष अधिकारी को पुलिस ने व्यवसायियों को पुलिस प्रशासन के नाम पर गिरफ्तार कराने का फर्जी पत्र भेज कर मोटी रकम की धोखाधड़ी के आरोप में नोएडा से गिरफ्तार किया गया था. नोएडा पुलिस सूत्रों के अनुसार, विभाष पर वर्ष 2023 में नलहाटी में कई लोगों को फर्जी नोटिस भेज कर पैसे ऐंठने का आरोप है. उनका बेटा अर्घ्य भी इस गिरोह में शामिल था. विभाष न केवल एक फर्जी संगठन चलाता था, बल्कि नलहाटी में एक समानांतर प्रशासन भी चलाता था. विभाष ने पहले इंटरनेशनल पुलिस एंड क्राइम इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो नाम से एक फर्जी जांच एजेंसी खोली थी और नलहाटी के कई लोगों को धमका कर उनसे कथित तौर पर पैसे और जमीन हड़प ली थी. उसने नेशनल ब्यूरो ऑफ सोशल इन्वेस्टीगेटिंग एंड सोशल जस्टिस नाम से एक एजेंसी खोलकर विभाष ने नलहाटी के कई लोगों को नोटिस भेजकर तलब करता था. नोटिस में जमीन संबंधी विवादों का जिक्र होता था. इस जानकारी के बारे में और जानकारी जुटाने के लिए नोएडा पुलिस की एक टीम बुधवार को कोलकाता पहुंची थी.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

