कोलकाता : भारत में कैंसर तेजी से पांव पसार रहा है. एक रिपोर्ट के मुताबिक भारत में करीब 2.25 मिलियन कैंसर के मरीज हैं, जबकि हर साल 11 लाख 57,294 नये मामले सामने आते हैं.
रिपोर्ट के अनुसार देश के शहरी इलाकों में महिलाओं को होने वाले स्तन कैंसर के मामलों में भी बढ़ोतरी हुई है. औसतन शहरी इलाकों में 27 में से एक महिला इसकी चपेट में आती हैं जबकि गांवों में 80 में से एक महिला. वहीं पश्चिमि देशों में आठ में एक महिला स्तन कैंसर की चपेट में आती हैं.
यह जानकारी शहर के सीनियर कैंसर रोग विशेषज्ञ एवं ग्लोबल कैंसर ट्रस्ट के चैयरमैन डॉ विकास अग्रवाल ने कहीं. वह महानगर स्थित प्रेस क्लब में संवाददाताओं को संबोधित कर रहे थे. उन्होंने कहा कि कैंसर, भारत सहित पूरी दुनिया के लिए खतरे की घंटी है. साल 2030 तक इन आकड़ों में और वृद्धि होने की संभावना है. उन्होंने बताया कि सजगता ही इस बीमारी से बचाव का उपाय है.
ये हैं संकेत
मल त्यागने में परेशानी, एक बार में पेट साफ इत्यादि इसके संकेत हैं. अगर शरीर के किसी अंग में घाव या कट जाने पर तीन सप्ताह के भीतर नहीं सूखता तो अपने चिकित्सक से मिलें. स्तन में ट्यूमर हो और दर्द न हो और तीन सप्ताह से अधिक खांसी की समस्य हो तो इन समस्या की अनदेखी न करें.
कैंसर में रोबोटिक सर्जरी है कारगर
डॉक्टर अग्रवाल ने बताया कि तकनीकी के इस युग में मॉडर्न मेडिकल साइंस भी हाइटेक हो गया है. अब कैंसर व अन्य जटिल बीमारियों में सर्जरी काफी कारगर साबित होती है. प्रोस्टेट कैंसर, किडनी, कोलन, फेफड़े और यूटेरस कैंसर में रोबोटिक सर्जरी की कारगर है.