रानीगंज. शनिवार को रानीगंज के मंगलपुर स्थित श्री सत्या स्पंज आयरन फैक्टरी के मुख्यद्वार के सामने ””बक्तारनगर बचाओ समिति”” के बैनर तले ग्रामीणों ने जोरदार विरोध प्रदर्शन किया. ग्रामीणों का आरोप है कि फैक्टरी से लगातार निकल रहे जहरीले धुएं से पूरे इलाके में गंभीर प्रदूषण फैल रहा है, जिसके चलते लोग आये दिन बीमार हो रहे हैं और अकाल-मृत्यु का ग्रास बन रहे हैं. प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहे ””बक्तारनगर बचाओ समिति”” के अध्यक्ष जयदेव खां ने कहा कि प्रदूषण के कारण बक्तारनगर व आस-पास के गांवों में हालात बेहद खराब हैं. गांव में 13 लोगों की प्रदूषण जनित बीमारियों के कारण काल के गाल में समा चुके हैं. औसतन, हर माह कम से कम चार लोग उनके गांव में बेमौत मारे जा रहे हैं. ग्रामीणों का आरोप है कि बार-बार शिकायत करने और इसके पहले विरोध प्रदर्शन करने के बावजूद फैक्टरी प्रबंधन ने प्रदूषण नियंत्रण के लिए कोई कारगर कदम नहीं उठाया है.
प्रबंधन की मोहलत नामंजूर तीन दिन का अल्टीमेटम
ग्रामीणों के विरोध प्रदर्शन को देखते हुए, श्री सत्या स्पंज आयरन फैक्टरी प्रबंधन ने प्रदर्शनकारियों से प्रदूषण नियंत्रण के लिए एक माह की मोहलत मांगी. हालांकि, ग्रामीणों ने इस मोहलत को सिरे से नकार दिया. जयदेव खां ने याद दिलाया कि ‘एक वर्ष पहले भी जब हमने प्रदर्शन किया था, तब प्रबंधन ने एक माह में प्रदूषण नियंत्रण-यंत्र लगाने का आश्वासन दिया था, जिस पर आज तक अमल नहीं हुआ.’प्रदर्शनकारियों ने फैक्टरी प्रबंधन को मंगलवार तक का अल्टीमेटम दिया है. ग्रामीणों की मांग है कि प्रबंधन तीन दिन के अंदर प्रदूषण नियंत्रण मशीन(यंत्र) की व्यवस्था करे और प्रदूषण पर तत्काल रोक लगाये.
ज्ञापन सौंप दी फैक्टरी बंद करने की चेतावनी
इस दौरान समिति की ओर से फैक्टरी प्रबंधक को एक ज्ञापन भी सौंपा गया. जयदेव खां ने साफ चेतावनी दी कि यदि मंगलवार तक प्रदूषण पर नियंत्रण के लिए कोई ठोस व सार्थक कदम नहीं उठाया गया, तो ग्रामीण फिर से जोरदार आंदोलन करेंगे और जरूरत पड़ने पर फैक्टरी के गेट पर ताला जड़ने या उसे स्थायी रूप से बंद कराने को मजबूर होंगे.
समिति ने साफ किया है कि उनकी एकमात्र मांग प्रदूषण नियंत्रण है. जयदेव खां ने कहा कि बक्तारनगर के अलावा आसपास के कई गांवों के लोग भी इस प्रदर्शन में शामिल हुए, जो दर्शाती है कि प्रदूषण की समस्या कितनी गंभीर है. फिलहाल, ग्रामीणों ने चेतावनी के साथ प्रदर्शन समाप्त कर दिया है और उनकी निगाहें मंगलवार तक फैक्टरी प्रबंधन की कार्रवाई पर टिकी हैं.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

