सिमडेगा. उपायुक्त कंचन सिंह की अध्यक्षता में प्रथम राजकीय रामरेखा महोत्सव सह मेला के सफल आयोजन के बाद रामरेखा धाम समिति के सदस्यों के साथ समीक्षा बैठक हुई. बैठक में प्राकृतिक सुंदरता से परिपूर्ण रामरेखा धाम को पर्यटन की दृष्टि से विकसित करने की संभावनाओं पर विस्तार से चर्चा हुई. उपायुक्त ने कहा कि इस वर्ष पहली बार बड़े पैमाने पर आयोजित महोत्सव में श्रद्धालुओं की भीड़ पहुंची. इसके चलते कुछ व्यवस्थागत चुनौतियां सामने आयीं, जिन्हें ध्यान में रखते हुए अगले वर्ष आयोजन को और व्यवस्थित व सुगम बनाने के लिए ठोस कार्य योजना तैयार की जा रही है. बैठक में पार्किंग व्यवस्था को व्यापक स्तर पर बढ़ाने, श्रद्धालुओं की आवाजाही के लिए वैकल्पिक मार्ग तैयार करने, विद्युत, नेटवर्क, संचार तथा पेयजल व्यवस्था को सुदृढ़ करने पर विशेष बल दिया गया. समिति ने कैरबेड़ा चौक से भूम्भू, बानाबिरा से कोंडारा तथा शहीद स्थल से रामरेखा मंदिर के नीचे बेस गांव तक तीन नये मार्ग विकसित करने का प्रस्ताव रखा गया. इन मार्गों के निर्माण से आने-जाने के लिए अलग-अलग रास्ते उपलब्ध होंगे. इससे जाम की समस्या प्रभावी रूप से दूर की जा सकेगी. घाटी क्षेत्र की चौड़ीकरण के लिए फॉरेस्ट क्लीयरेंस के लिए पथ निर्माण विभाग से प्रस्ताव भेजने की बात कही गयी. मेला क्षेत्र को आकर्षक और सुव्यवस्थित बनाने के लिए दुकानों को श्रेणीवार अलग-अलग लगाने, मेला परिसर के विस्तार और साफ-सफाई को प्राथमिकता देने पर सहमति बनी. उपायुक्त ने अगले वर्ष मेला परिसर में थर्माकोल और प्लास्टिक पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने का निर्देश दिया, ताकि पर्यावरण संरक्षण सुनिश्चित हो सके. बैठक में उप विकास आयुक्त दीपांकर चौधरी, अपर समाहर्ता श्री ज्ञानेंद्र, अनुमंडल पदाधिकारी प्रभात रंजन ज्ञानी, जिला खेल पदाधिकारी मनोज कुमार, नजारत उप समाहर्ता सह प्रखंड विकास पदाधिकारी समीर रेनियर खलखो, प्रखंड विकास पदाधिकारी पाकरटांड़ आदि उपस्थित थे.
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