खलारी. खलारी का ऐतिहासिक शहीद चौक अवैध अतिक्रमण की मार झेल रहा है. ये जगह पहले साफ-सुथरी थी और एसीसी कंपनी के जमाने में सुव्यवस्थित थी. लेकिन कंपनी के जाने के बाद धीरे-धीरे यहां बांस-लकड़ी के अस्थायी ढांचे बनते-बनते अब जमीन कब्जा कर पूरी तरह से दुकानों और गैरेजों में बदल दिया गया है. अतिक्रमण इतना बढ़ा कि आज इसे लोग ‘मुर्गी चौक’ भी कहने लगे हैं, क्योंकि यहां बहुत सारी मांस-मछली की दुकानें हैं.
पूजा-पाठ भी हुआ मुश्किल
श्री जानकी रमण मंदिर खलारीे का सबसे बड़ा धार्मिक केंद्र है. क्षेत्र के गांव से झंडा और पूजा की प्रतिमाएं लेकर लोग इसी रास्ते से मंदिर आते-जाते हैं. अब हालात ऐसे हो गये हैं कि ओवरब्रिज के नीचे गंदगी और मांस-मछली का गंदा पानी फैला रहता है. श्रद्धालु बहुत मुश्किल से मंदिर तक पहुंच पाते हैं. मंदिर जाने के लिए घर से स्नान कर साफ-सफाई से निकलते हैं और इस जगह से गुजरने के बाद अपवित्र होने का अहसास होता है.ट्रैफिक भी बेहाल :
यह रोड स्कूल बस, सरकारी गोदाम, ब्लाक कार्यालय, रेलवे स्टेशन और बैंक तक जाने वालों का मुख्य रास्ता है. लेकिन यहां अतिक्रमण की वजह से रोजाना जाम लगना आम बात हो गयी है. साथ ही गंदा तेल, कीचड़ और मलबा सड़क पर जमा रहता है, जिससे वाहन चलाना मुश्किल हो गया है. चाय की दुकानों के आसपास सुबह नशेड़ी और शाम को शराबी लोग इकट्ठा हो जाते हैं. इससे लोगों को असुरक्षा भी महसूस हो रही है.प्रशासन भी चुप है :
जिला प्रशासन ने अतिक्रमण हटाने के कई आदेश तो दिये हैं, लेकिन जमीनी हालात वैसे के वैसे ही बने हुए हैं. झारखंड उच्च न्यायालय ने खुले में मांस-मछली बेचने पर रोक लगा दी है, फिर भी खलारी शहीद चौक के आसपास ये काम धड़ल्ले से हो रहा है. दो साल पहले तत्कालीन विधायक समरीलाल ने शहीद चौक को ठीक कराने की कोशिश भी की थी, लेकिन उसका भी कोई खास असर नहीं हुआ. अब लोग उम्मीद लगाये हैं कि प्रशासन जल्दी से जल्दी यहां से अतिक्रमण हटवाये.सड़क की जमीन कब्जा कर बना ली गयी है दुकानें और गैरेज
अतिक्रमण से संकरा हुआ मुख्य मार्ग, हर दिन लगता है जाम
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