डकरा. एनके एरिया की सबसे बड़ी मजदूरों की आवासीय काॅलोनी मोहननगर, जहां रहनेवाले संगठित और असंगठित मजदूरों के श्रम से पूरे कोयलांचल की गतिविधियां संचालित होती है, उनके निवास स्थान की हालत कितनी बदतर और नारकीय है यह व्यवस्था में बैठे लोगों को देखने की जरूरत है, लेकिन जिन पर व्यवस्था सुधारने की जिम्मेदारी है वह कैसे बड़ा बाधक बन कर कुछ भी ठीक नहीं होने दे रहे हैं, इसे इस बात से समझा जा सकता है कि मंगलवार को सीसीएल के महाप्रबंधक कल्याण रेखा पांडेय को जब मोहननगर ले जाया जा रहा था, तो एनके एरिया के असैनिक विभाग प्रमुख सुमन कुमार ने उन्हें बीच रास्ते से वापस बुला लिया कि वहां नहीं जाना है. यह बात एनके एरिया कल्याण समिति सदस्य कृष्णा चौहान, शैलेश कुमार, सलाहकार समिति सदस्य गोल्टेन प्रसाद यादव, प्रेम कुमार ने प्रभात खबर से कही है. बताया कि सलाहकार समिति, कल्याण समिति और एजेंडा मीटिंग के प्लेटफार्म पर बात रखने के बाद भी विभागीय अधिकारी हमलोगों की कुछ नहीं सुनते हैं और न ही मजदूरों का कोई काम हो रहा है. लोगों की परेशानी के आगे अब हमलोग भी बेबस हो कर निर्णय लिये हैं कि खुद निरीक्षण कर प्रभात खबर के माध्यम से अपनी बात उचित फोरम तक पहुंचायी जाये. इसको लेकर बुधवार को मोहननगर के 128 काॅलोनी में रहने वाले पिपरवार में डंपर ऑपरेटर रवींद्र चौहान जो माइनस क्वार्टर नंबर 202 में रहता है, वहां जाकर निरीक्षण किया गया. उन्होंने बताया कि पूरा क्वार्टर की छत से पानी टपक रहा है, जिसके कारण घर में रखा दो क्विंटल चावल सड़ गया, पंखा जल गया, पलंग खोल कर पड़ोसी के यहां रखना पड़ा है, बाथरूम में दरवाजा नहीं लगाया गया, कीचन में नल के नीचे सींक नहीं लगाया गया, पानी की टंकी फट गयी है. यह स्थिति तब है जब कुछ दिन पहले ही क्वार्टर में मरम्मत का काम हुआ है.
दोनों रास्ते पर कचरे का अंबार लगा है
काॅलोनी जाने का दो रास्ता है एक साप्ताहिक हाट और दूसरा सीएचपी तालाब के रास्ते में कचरे का अंबार लगा हुआ है. स्थानीय लोगों ने बताया कि कभी भी इसकी सफाई नहीं की गयी है.काॅलोनी में पानी नहीं पहुंचता
100 नंबर ब्लॉक में लगभग 60 ऐसे क्वार्टर हैं, जिसमें वाटर सप्लाई का पानी नहीं पहुंचता है. यहां रहने वाले श्रमिक नेता जो डकरा परियोजना में कार्यरत हैं देवपाल मुंडा ने बताया कि हमलोग बोल-बोल कर थक गये लेकिन विभागीय अधिकारी हमलोगों से ज्यादा ठेकेदारों की सुनते हैं.
दो करोड़ का एनुअल मेंटेनेंस का काम चल रहा है
काॅलोनी में पिछले आठ महीने से दो करोड़ रुपए की लागत से एनुअल मेंटेनेंस का काम चल रहा है. यहां अब तक जो काम करने का भुगतान ठेकेदार को किया गया है, उसकी जांच होने से ठेकेदार और विभागीय अधिकारियों की मिलीभगत स्पष्ट हो सकता है. बिल बनाने वाले ओवरसियर और हस्ताक्षर करने वाले लोगों ने किस आधार पर ठेकेदार को भुगतान किया है और धरातल पर कितना काम हुआ है, इसकी जांच होते ही सबकुछ स्पष्ट हो जायेगा.जीएम वेलफेयर को मोहननगर नहीं जाना था : सुमन कुमार
एनके एरिया असैनिक विभाग प्रमुख सुमन कुमार ने बताया कि जीएम वेलफेयर रेखा पांडेय को मोहननगर नहीं जाना था. उनका तय कार्यक्रम था. माना कि ठेकेदार मोहननगर में ठीक से काम नहीं कर रहा है, लेकिन हमलोग लगे हुए हैं, उससे काम कराने के लिए.
स्लग ::: सलाहकार समिति, कल्याण समिति और एजेंडा मीटिंग की बातें भी नहीं सुनते हैं अधिकारीसदस्यों का आरोप :
हालात बदतर, इसलिए जीएम वेलफेयर को मोहननगर काॅलोनी जाने से रोका गयाडिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

