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मुख्य सचिव ने सुखाड़ की संभावना को देखते हुए विभागों को किया अलर्ट, कहा किसानों से बात कर एक सप्ताह में बनायें रणनीति
कृषि विभाग भी करेगा 31 जुलाई तक का इंतजार कम पानी में होने वाली फसल पर ज्यादा ध्यान दें रांची : मुख्य सचिव डॉ डीके तिवारी ने सोमवार को बैठक कर राज्य में सुखाड़ की संभावना को देखते हुए संबंधित विभागों को अलर्ट किया है. विभागों से तैयारी में जुट जाने को कहा है. उन्होंने […]
कृषि विभाग भी करेगा 31 जुलाई तक का इंतजार
कम पानी में होने वाली फसल पर ज्यादा ध्यान दें
रांची : मुख्य सचिव डॉ डीके तिवारी ने सोमवार को बैठक कर राज्य में सुखाड़ की संभावना को देखते हुए संबंधित विभागों को अलर्ट किया है. विभागों से तैयारी में जुट जाने को कहा है. उन्होंने कहा कि किसानों से बात कर उन्हें सहयोग देने के लिए एक सप्ताह में रणनीति तैयार करें. उपायुक्तों से कहा कि वे यह देखें कि जिलों में खाद आदि की उपलब्धता भरपूर रहे. कम पानी में होने वाली फसल पर ज्यादा ध्यान दें.
कृषि विभाग को निर्देश दिया कि अगर आगे भी अच्छी बारिश नहीं हुई और सुखाड़ की स्थिति बनी, तो किसानों को राहत पहुंचाने के लिए उस समय का इंतजार नहीं करें. मौसम विभाग ने जानकारी दी कि साइक्लोन के कारण पिछले एक सप्ताह मॉनसून कमजोर रहा. अानेवाले सप्ताह में मॉनसून के सक्रिय होने की उम्मीद है. इससे स्थिति कुछ सुधर सकती है.
पिछले साल भी इस समय सामान्य से करीब 40 फीसदी बारिश कम हुई थी. कृषि विभाग ने बताया कि राज्य में खरीफ मौसम में होनेवाली खेती की वर्तमान स्थित पर नजर रखी जा रही है. धान का बिचड़ा किसान तैयार कर रहे हैं. अगर बारिश हो गयी, तो रोपा हो जायेगा. इसके लिए कृषि विभाग 31 जुलाई तक इंतजार करेगा.
मनरेगा से दें रोजगार : सीएस ने कम बारिश से खेती के प्रभावित होने की स्थिति में गांवों में हर हाथ को काम देने का निर्देश दिया. उन्होंने मनरेगा से काम देने को कहा है. मनरेगा आयुक्त ने बताया कि फिलहाल जल शक्ति योजना के तहत 54 हजार नयी योजना पर पूरे राज्य में काम चल रहा है.
350 करोड़ उपायुक्तों को दें : स्टेट डिजास्टर रिस्पांस फंड के तहत 350 करोड़ उपायुक्तों को एक सप्ताह में देने का निर्देश दिया. इससे किसानों को बीज व खाद के लिए अनुदान में पैसे दिये जायेंगे.
पेयजल के लिए जिलों को मिलेंगे 80 करोड़ : सीएस ने पेयजल संकट की समस्या दूर करने का भी निर्देश दिया. इसके लिए अतिरिक्त 80 करोड़ जिलों को देने को कहा. पहले 100 करोड़ रुपये का आवंटन किया गया है.
अब तक 45% कम बारिश : बैठक में बताया गया कि अब तक 45% कम बारिश हुई है, जो पिछले साल से भी कम है. आठ जिले चतरा, बोकारो, धनबाद, गोड्डा, पाकुड़, रांची, सरायकेला व खूंटी ज्यादा प्रभावित हैं. 11 जिलों में धान रोपनी शून्य है. दलहन व तेलहन की खेती में भी थोड़ी गिरावट है.
बैठक में ये थे मौजूद : बैठक में मौसम विभाग, कृषि विभाग, मनरेगा और आपदा प्रबंधन विभाग के अधिकारी शामिल हुए. मुख्य रूप से कृषि सचिव पूजा सिंघल, कृषि निदेशक छवि रंजन, मनरेगा आयुक्त सिद्धार्थ त्रिपाठी, आपदा प्रबंधन विभाग के संयुक्त सचिव मनीष कुमार आदि मौजूद थे.
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