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झारखंड : सरकारी अस्पतालों के ब्लड बैंक में नहीं लिया जायेगा प्रोसेसिंग चार्ज, गरीब होते थे परेशान
II राजीव पांडेय II नेशनल एड्स कंट्रोल ऑर्गेनाइजेशन ने जारी किया दिशा-निर्देश सरकारी अस्पतालों के ब्लड बैंक से खून लेनेवाले मरीज और उनके परिजनों के लिए राहत भरी खबर है. अब परिजनों से खून की जांच के नाम पर प्रोसेसिंग चार्ज नहीं लिया जायेगा. यानी बिना शुल्क दिये ही मरीजों को खून मिल जायेगा. नेशनल […]
II राजीव पांडेय II
नेशनल एड्स कंट्रोल ऑर्गेनाइजेशन ने जारी किया दिशा-निर्देश
सरकारी अस्पतालों के ब्लड बैंक से खून लेनेवाले मरीज और उनके परिजनों के लिए राहत भरी खबर है. अब परिजनों से खून की जांच के नाम पर प्रोसेसिंग चार्ज नहीं लिया जायेगा. यानी बिना शुल्क दिये ही मरीजों को खून मिल जायेगा. नेशनल एड्स कंट्रोल ऑर्गेनाइजेशन (नाको) के एडिशनल डायरेक्टर डॉ एस राजन ने इस संबंध में सरकारी अस्पतालों को निर्देश जारी किया है.
रांची : नेशनल एड्स कंट्रोल ऑर्गेनाइजेशन (नाको) के निर्देश के बाद अब राजधानी के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल रिम्स के ब्लड बैंक से खून लेनेवाले मरीजों को प्रोसेसिंग चार्ज नहीं देना पड़ेगा. इसके अलावा जिला अस्पताल के ब्लड बैंक (सरकारी ब्लड बैंक) में भी परिजनों को कोई शुल्क नहीं देना पड़ेगा.
रिम्स प्रतिदिन अपने स्टॉक का 20 फीसदी बाहरी लोगों को खून मुहैया करता है. ये मरीज रिम्स को प्रोसेसिंग चार्ज के लिए 350 रुपये देते हैं. प्रोसेसिंग चार्ज लगने से सबसे ज्यादा परेशानी गरीब मरीजों को होती है. पैसा नहीं होने के कारण उन्हें घूमना पड़ता है. कई बार खून की व्यवस्था करने के नाम पर दलाल गरीब व अनपढ़ परिजनों से मनमाना पैसा वसूल लेते हैं.
प्रोसेसिंग चार्ज लगने से परेशान होते हैं गरीब, पैसे न होने पर कई बार लौट जाते हैं
खून की व्यवस्था कराने के नाम पर गरीबों से मनमाना पैसा वसूल लेते हैं दलाल
अभी हमारे पास कोई आधिकारिक सूचना नहीं है. बाहरी लोगों को रक्त देने के लिए लिये जाने वाले प्रोसेसिंग चार्ज को नहीं लेने से पहले शासी परिषद में इसको रखना होगा. वहां से अनुमति मिलने के बाद ही हम इस चार्ज को नि:शुल्क कर सकते हैं.
डॉ आरके श्रीवास्तव, निदेशक रिम्स
रिम्स में भर्ती मरीजों को नहीं लगता है प्रोसेसिंग चार्ज : रिम्स में भर्ती मरीजों को प्रोसेसिंग चार्ज नहीं देना पड़ता है. निदेशक डॉ आरके श्रीवास्तव ने बताया कि हमारे यहां भर्ती मरीज के परिजनों से प्रोसेसिंग चार्ज नहीं लिया जाता है. कई मरीजों को हम बिना डोनेट किये ही खून मुहैया कराते हैं.
क्यों पड़ी जरूरत : जानकारी के अनुसार नॉको ने सरकारी ब्लड बैंक से प्रोसेसिंग चार्ज लेने का निर्देश इसलिए दिया है कि लोगों को यह लगता है कि सरकार खून मुहैया कराने के नाम पर पैसा लेती है. सरकार का यह मानना है कि सरकारी ब्लड बैंक में खून स्वैच्छिक रक्तदान से आता है, इसलिए इसमें किसी प्रकार का शुल्क नहीं होना चाहिए. इससे स्वैच्छिक रक्तदान के प्रति लोगों को झुकाव होगा.
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