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मिट्टी कला बोर्ड का गठन जरूरी

मेदिनीनगर : मंगलवार को झारखंड प्रजापति महासंघ के पलामू इकाई ने मेदिनीनगर कचहरी परिसर में धरना दिया. धरना स्थल पर सभा का आयोजन किया गया. इसकी अध्यक्षता महासंघ के जिला अध्यक्ष अविनाश देव ने की. धरना में पलामू जिले के विभिन्न क्षेत्र से हजारों की संख्या में प्रजापति समाज के लोग आये थे. जो लोग […]

मेदिनीनगर : मंगलवार को झारखंड प्रजापति महासंघ के पलामू इकाई ने मेदिनीनगर कचहरी परिसर में धरना दिया. धरना स्थल पर सभा का आयोजन किया गया. इसकी अध्यक्षता महासंघ के जिला अध्यक्ष अविनाश देव ने की. धरना में पलामू जिले के विभिन्न क्षेत्र से हजारों की संख्या में प्रजापति समाज के लोग आये थे. जो लोग धरना में शामिल होने आये थे, उनलोगों के बीच पौधे का भी वितरण किया गया, ताकि वह धरना स्थल से जब घर जायें तो पौधा लगायें, ताकि यह आंदोलन का गवाह बने.
साथ ही धरना स्थल पर चाय का स्टॉल लगाया गया था, जिसमें वहां आने वाले लोगों को मुफ्त में कुलफ्ड़ड में चाय दी जा रही थी, ताकि मिट्टी से बने बरतनों का अधिक से अधिक प्रयोग किया जाये. धरना के माध्यम से झारखंड में मिट्टी कला बोर्ड का गठन करने की मांग की गयी. बताया गया कि मिट्टी कला बोर्ड के गठन की मांग प्रजापति समाज का जन्मसिद्ध अधिकार है. सभा में प्रजापति महासंघ के जिलाध्यक्ष श्री देव ने कहा कि पुरानी परंपराओं को आगे बढ़ाना है.
क्योंकि परंपरा के संरक्षण से ही समाज व देश आगे बढ़ेगा. समाज में मिट्टी के बरतन का चलन कम हुआ है, तो बीमारी बढ़ी है. मिट्टी कला बोर्ड के गठन का मामला एक सामाजिक आंदोलन है, यह लड़ाई देश की उस परंपरा को बचाये रखने के लिए है, जो वर्षों पूर्व हमलोगों को मिली है. इसमें भारतीय संस्कार, सभ्यता और संस्कृति छिपी है. इसलिए महासंघ ने यह तय किया है कि मिट्टी कला बोर्ड के गठन को लेकर जो आंदोलन शुरू किया गया है, वह समाज की लड़ाई बने. बोर्ड का गठन होने से प्रजापति समाज के लोगों का सामाजिक, आर्थिक क्षेत्र में बदलाव आयेगा.
वर्तमान में प्रजापति समाज के लोगों की स्थिति बदहाल है. इस बदहाली को दूर करने के लिए मिट्टी कला बोर्ड का गठन जरूरी है. सरकार इस मामले में गंभीरता के साथ सोचें. कार्यक्रम में चंद प्रजापति ने कहा कि झारखंड में प्रजापति समाज के लोगों की संख्या 14 लाख से अधिक है. लेकिन इस समाज के लोगों में राजनीतिक चेतना पूरी तरह जागृत नहीं हो पायी है. यही वजह है कि विभिन्न राजनीतिक दल के लोग प्रजापति समाज को वोट बैंक के रूप में इस्तेमाल करते हैं.
अब समय बदल रहा है. प्रजापति समाज के लोग भी जागरूक हो रहे हैं और अपने अधिकार की रक्षा के लिए आंदोलन शुरू कर दिया है. धरना में प्रदीप नारायण, ललन प्रजापति, जटाधारी प्रजापति, संजय प्रजापति, संतोष, धर्मेंद्र, सत्येंद्र, परमेंद्र, विनोद, रामलाल, निर्मला देवी, सुनयना देवी, विमला देवी, ललिता देवी, शोभा देवी, नथुनी प्रजापति सहित अन्य लोग मौजूद थे. धरना के बाद मुख्यमंत्री के बाद उपायुक्त के नाम 14 सूत्री मांगपत्र सौंपा गया.

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