फतेहपुर. प्रखंड क्षेत्र के आसनबेड़िया पंचायत के दोमुहानी गांव के किसान दीपक किस्कू ने अपनी मेहनत से एक मिसाल कायम की है. दोमुहानी नदी किनारे अपनी दो बीघा जमीन पर गरमा धान की फसल लगाकर हरियाली ला दी है. किसान दीपक ने बताया कि दिसंबर महीने में ही गरमा धान का बिचड़ा तैयार किया था. मध्य फरवरी तक खेत तैयार कर रोपाई का काम किया गया है. आगामी जून तक धान की फसल कटनी के लिए तैयार हो जाएगी. गरमा धान उत्पादन के लाभ के बारे बताते हुए किसान दीपक ने बताया कि गरमा धान वर्षा काल के समय उगाए धान से अधिक पैदावार देती है. यूं कहें तो उसकी तुलना में दोगुनी फलन होती है. साथ ही अतिवृष्टि के कारण धान की फसलों का नुकसान नहीं होता. खर्च की बात करें तो दोनों ही मौसम में बराबर खर्च लग जाता है. विगत साल पानी की सुविधा होने के कारण अधिक फसल लगाए थे. इस वर्ष कम ही लगा पाये हैं. पटवन के लिए लिया है बिजली का कनेक्शन : किसान प्रदीप ने बताया कि एक महीने में चार से पांच बार खेतों में पानी का एक पटवन करना पड़ता है. इसके लिए खेती के लिए मोटर का कनेक्शन लिया हुआ है, जिससे आसानी से मोटर चालू करते खेतों में पानी भर जाता है. ग्रामीणों ने बताया कि किसानों के खेतों में पानी की उपलब्धता के लिए इस साल आस्था संस्था भोपाल की ओर से स्टॉक डैम बनवाया जा रहा है. इससे वर्षा काल का पानी बेकार बह कर नहीं बल्कि एक जगह संचित होकर रह सके. इससे और भी किसान परिवार लाभान्वित होंगे. किसान प्रदीप ने बताया कि यहां वर्षों पहले उनके पिता हेमंत किस्कू ने गरमा धान की खेती शुरू की थी. तब से गांव के दो दर्जन किसान खेती कर अच्छा मुनाफा कमा रहे हैं. खेती में पत्नी प्रान्ती मरांडी, पुत्र मनीष किस्कू व रूपेश किस्कू हाथ बंटाते हैं. इसके अलावा दोमुहानी के किसान चिनिशर किस्कू, सिनन्दो किस्कू, सुरेश किस्कू, अरुण किस्कू आदि खेती कर रहे हैं.
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