जमशेदपुर: बिजली चोरी करवाने के आरोप में झारखंड बिजली वितरण निगम द्वारा तीन अभियंताओं व एक लाइनमैन को निलंबित कर दिया गया है. इन्हें पिछले दिनों पद से हटा दिया गया था. अब इन्हें निलंबित कर दिया गया है. बताया गया कि अन्य अभियंताओं पर भी जांच चल रही है. पूर्वी सिंहभूम जिले के इंगोट प्लांट (स्टील फर्नेस) समेत अन्य बड़ी कंपनियों में बिजली चोरी में संलिप्त अौर कंपनी मालिकों के साथ सांठ गांठ की पुष्टि होने पर कार्रवाई हुई है.
इसमें घाटशिला विद्युत प्रमंडल के तत्कालीन कार्यपालक अभियंता बीएन सिंह अौर एस कुरैशी, चाकुलिया सब डिवीजन के सहायक विद्युत अभियंता सत्येंद्र कुमार सिंह अौर धालभूमगढ़ सेक्शन के अॉपरेटर हीरालाल गुप्ता को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया गया है. साथ ही चारों को मुख्यालय तलब किया गया है. बिजली बोर्ड के सीएमडी सह ऊर्जा सचिव डॉ नितिन मदन कुलकर्णी के हस्ताक्षर से चारों के सस्पेंशन से संबंधित एक पत्र जारी किया गया है.
गौरतलब हो कि जमशेदपुर एरिया बोर्ड में 37 फीसदी लाइन लॉस (बिजली चोरी) था, इसका खुलासा होने के बाद सीएमडी ने जमशेदपुर के विद्युत जीएम समेत एक दर्जन इंजीनियरों को यहां से हटाया था. साथ ही नये जीएम के नेतृत्व में टीम गठित करते हुए पूर्वी सिंहभूम अौर सरायकेला खरसावां जिले में आधा दर्जन से ज्यादा इंगोट प्लांट में अौचक छापेमारी की गयी.
क्यों हुए सस्पेंड
सूत्रों के मुताबिक घाटशिला विद्युत प्रमंडल में तत्कालीन कार्यपालक अभियंता नितिश कुमार सिन्हा के कई दिनों तक छुट्टी में रहने के दौरान एरिया बोर्ड में पदस्थापित बीएन सिंह को घाटशिला प्रमंडल में चार्ज सौंपा गया था, इस दौरान चाकुलिया सेक्शन में पावर कैपसिटी बढ़ाने समेत अन्य काम किया गया. इससे लाइन लॉस व राजस्व का नुकसान पकड़ाया. इसी तरह घाटशिला प्रमंडल के पूर्व विद्युत कार्यपालक अभियंता एस कुरैशी के खिलाफ एक इंगोट प्लांट में बिजली चोरी मामले में कंपनी को फायदा पहुंचाने का आरोप लगा था. हालांकि वर्तमान कार्रवाई के पीछे का कारण स्पष्ट नहीं है.