मधुपुर. पिछले कई वर्षों से लंबित मधुपुर शहरी जलापूर्ति योजना को पूर्ण करने के लिए एक दिन पूर्व हुए कैबिनेट बैठक में 76 करोड़ 63 लाख 95 हजार 178 रुपया के पुनरीक्षित राशि की स्वीकृति व प्रशासनिक स्वीकृति प्रदान की गयी है. प्रदेश के अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री हफीजुल हसन के लगातार प्रयास से राशि की स्वीकृति मिली है. अब लंबित शहरी जलापूर्ति योजना का कार्य तेजी से प्रारंभ होगा. कैबिनेट की बैठक में नयी राशि के साथ प्रशासन स्वीकृति मिलने से स्थानीय लोगों में खुशी है. अब मधुपुर के लोगों को घर-घर शुद्ध पेयजल मिलने की उम्मीद बढ़ गयी है. बतादें मधुपुर शहरी जलापूर्ति योजना का निर्माण कार्य अब तक अधूरा पड़ा है. हजारों घरों में जलापूर्ति योजना का पाइपलाइन तो पहुंचा दिया गया, लेकिन पानी नहीं मिल पाई है. 64 करोड़ की लागत से दो फेज में निर्माणाधीन योजना का काम वर्ष 2022 में पूरा होना था. बाद में योजना को विस्तार देते हुए 38 किलोमीटर नई पाइपलाइन बिछाने की स्वीकृति देते हुए योजना को पूरा करने का समय दिया गया था. लेकिन यह कार्य भी अधूरा रह गया था. योजना के पहले फेज में नगर परिषद क्षेत्र में दो जल मीनार बनाने का प्रस्ताव था. लेकिन बाद में जगह की कमी के कारण कुंडू बंगला स्थित लघु सिंचाई विभाग की जमीन पर जल मीनार बनाने का काम प्रारंभ हुआ. साथ ही फागो नदी से कुआं बनाकर पानी आपूर्ति का प्रस्ताव भी बदलकर जयंती नदी के चेतनारी कर दिया गया. योजना का प्रारूप भी बदल दिया गया. अब 38 की जगह अतिरिक्त करीब 60 किलोमीटर पाइपलाइन बिछाने से पूरी शहरी क्षेत्र में जलापूर्ति हो पाएगी. जबकि पहले सिर्फ 78 किलोमीटर पाइपलाइन बिछाने का काम होना था. इसके कारण कई वार्डों में पाइपलाइन नहीं बिछाया जा सका था. वही फेज दो के तहत पतरो नदी के मोहनपुर घाट से पानी लाकर डाकबंगला के निकट बनाये गये एक जलमीनार से पानी की आपूर्ति होना है.
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