देवघर : गोड्डा के पूर्व सांसद फुरकान अंसारी ने कहा कि केंद्र व राज्य की सरकार से जनता ऊब चुकी है. जनता महसूस कर रही है कि वे ठगे गये हैं. सरकार कहती है कि कॉलेज, स्कूल व सड़कों के निर्माण के लिए जमीन लेंगे. इस वजह से भूमि-अधिग्रहण बिल-2017 पारित किया गया है. मैं […]
देवघर : गोड्डा के पूर्व सांसद फुरकान अंसारी ने कहा कि केंद्र व राज्य की सरकार से जनता ऊब चुकी है. जनता महसूस कर रही है कि वे ठगे गये हैं. सरकार कहती है कि कॉलेज, स्कूल व सड़कों के निर्माण के लिए जमीन लेंगे. इस वजह से भूमि-अधिग्रहण बिल-2017 पारित किया गया है. मैं बताना चाहता हूं कि क्या संशोधन के पहले स्कूल, कॉलेज व सड़कों का निर्माण नहीं हुआ था. इसके पीछे सरकार की मंशा है कि गरीब आदिवासियों की जमीन को हड़पना है. इसलिए हमलोगों का विरोध है कि एक्ट को किसी भी सूरत में लागू नहीं किया जाये. संशोधन बिल पर राष्ट्रपति का हस्ताक्षर हो गया है. बंद के समर्थन में जनता मेरे साथ है.
जेल जाने के लिए महागठबंधन भी तैयार है.
जश्न जनता नहीं बीजेपी कार्यकर्ता व सरकारी लोग मना रहे हैं : पूर्व सांसद ने कहा कि सरकार चार वर्ष पूरे होने पर जश्न मना रही है. यह जश्न बीजेपी कार्यकर्ताओं व सरकारी कुरसी पर बैठे लोगाें द्वारा मनायी जा रही है. यह जश्न जनता नहीं मना रही है. जब जश्न जनता मनायेगी तो समझा जायेगा. जनता खुश हैं. उन्होंने कहा कि सरकार एलपीजी, पेट्रोल, डीजल, केराेसिन, बिजली की कीमतों में लगातार इजाफा कर रही है. इससे जनता काफी परेशान हैं, लेकिन सरकार को इससे कोई मतलब नहीं है. सरकार बतायें वर्ष 2014 के चुनावी एजेंडों का क्या हुआ : राज्य व केंद्र सरकार बताये कि वर्ष 2014 में तय चुनावी एजेंडों का क्या हुआ. निर्धारित एजेंडों पर क्या करना चाहती है. सरकार जज्बाती मुद्दों को उठाकर जनता को गुमराह करना चाहती है. इसे कतई बर्दाश्त नहीं किया जायेगा.
ब्यूरोक्रेट हो गये हैं सरकारी एजेंट : पूर्व सांसद ने कहा कि ब्यूरोक्रेट जनता की भावनाओं के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं. वे सरकारी एजेंट बन कर रह गये हैं.
इस अवसर पर युवा कांग्रेस के प्रदेश सचिव प्रतीक सिन्हा भी उपस्थित थे.
काला कानून बर्दाश्त नहीं : इरफान
जामताड़ा विधायक इरफान अंसारी ने कहा कि सरकार जान-बूझकर कौड़ी के भाव गरीब-आदिवासियों की जमीन हड़प कर अडानी को देकर खुश करना चाह रही है. इसके लिए राज्य सरकार ने भूमि अधिग्रहण बिल में संशोधन कर इसे काला कानून का रूप देने का काम किया है. पूरा विपक्ष इसके विरोध में है. झारखंड राज्य में काला कानून नहीं चलेगा. बंदी एेतिहासिक होगी.