आयोजन में दी बिहार भूमि अभिलेख रखरखाव अधिनियम-1973, छोटानागपुर टेनेंसी एक्ट(सीएनटी)-1908, व बिहार लैंड रिफार्म एक्ट (बीएलआर)-1950 के अंतर्गत लंबित मामलों पर चर्चा हुई. कार्यशाला में भूमि अभिलेख अधिनियम के अधिनियमों की धारा 14, 15, 16 व 18, सीएनटी एक्ट के अधिनियम की धारा 46 व 49 तथा बीएलआर एक्टर की धारा 04(एच) के तहत चर्चा हुई.
सभी अंचल अधिकारियों ने क्षेत्रवार लंबित मामलों की रिपोर्ट, केस स्थिति, सुनवाई की प्रगति व अभिलेख सुधार की स्थिति प्रस्तुत की. आयुक्त पवन कुमार ने भूमि से संबंधित जितने भी अधिनियम बनाए गए है, उस अधिनियम के बारे में जानकारी दी गयी. आयुक्त ने भूमि अभिलेख रखरखाव, किरायेदारों के अधिकारों की सुरक्षा व अवैध भूमि हस्तांतरण से जुड़े मामलों पर विमर्श किया. आयुक्त पवन कुमार ने कहा : सभी लंबित मामलों का त्वरित निस्तारण निर्धारित समय सीमा के भीतर हो. साथ ही सभी केसों की ऑनलाइन प्रविष्टि अद्यतन रखी जाए व अंचल स्तर पर स्थल निरीक्षण अनिवार्य रूप से हो. आयुक्त ने सीएनटी व बीएलआर अधिनियमों के उल्लंघन से संबंधित मामलों में कानूनी कार्रवाई सुनिश्चित करने को कहा.
बताते चले कि बिहार भूमि अभिलेख रखरखाव अधिनियम-1973 की धारा 14, 15, 16, 18 में भूमि अभिलेख रखरखाव, संशोधन एवं प्रमाणन प्रक्रिया है. सीएनटी एक्टर के धारा 46 व 49 में आदिवासी भूमि हस्तांतरण व वैधता का विधान है. बीएलआर एक्ट-1950 के धारा 04 (एच) में भूमि सुधार की बात है. मौके पर अपर समाहर्ता मुमताज अंसारी, प्रशिक्षु वन प्रमंडल पदाधिकारी संदीप शिंदे, चास अनुमंडल पदाधिकारी प्रांजल ढांडा, बेरमो अनुमंडल पदाधिकारी मुकेश मछुआ, जिला भू अर्जन पदाधिकारी द्वारिका बैठा, भूमि सुधार उपसमाहर्ता-चास प्रभास दत्ता, जिला जनसंपर्क पदाधिकारी रवि कुमार, समेत सभी अंचल अधिकारी सहित अन्य संबंधित पदाधिकारी व कर्मचारी उपस्थित थे.
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