सुपौल. जल संसाधन विभाग के अपर सचिव यशपाल मीणा और जिलाधिकारी सावन कुमार ने सोमवार को वीरपुर अनुमंडल अंतर्गत विभिन्न जल संसाधन परियोजनाओं का निरीक्षण किया. निरीक्षण की शुरुआत एशिया के दूसरे सबसे बड़े फिजिकल मॉडलिंग सेंटर से हुई, जहां अधिकारियों ने निर्माण की प्रगति और तकनीकी पहलुओं की विस्तृत जानकारी ली. फिजिकल मॉडलिंग सेंटर, जिसकी लागत लगभग 108 करोड़ है, अब लगभग बनकर तैयार हो चुका है. यह सेंटर कोसी सहित उत्तर और पूर्व भारत की प्रमुख नदियों के प्रवाह, बालू और गाद की समस्या, एवं बाढ़ पूर्वानुमान पर अनुसंधान का केंद्र बनेगा. इसके माध्यम से अब कोसी नदी के बदलते प्रवाह का अध्ययन स्थानीय स्तर पर संभव होगा, जिसे पहले पुणे भेजा जाता था. पीएमसी निरीक्षण के पश्चात अधिकारियों ने कोसी बराज का भी दौरा किया और वहां के कंट्रोल रूम की कार्यप्रणाली की बारीकी से समीक्षा की. साथ ही, कोसी तटबंध और निर्माणाधीन स्परों की स्थिति की भी जांच की गयी. निरीक्षण के दौरान संबंधित अभियंताओं को समयबद्धता और गुणवत्तापूर्ण कार्य सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए, विशेष रूप से आगामी बाढ़ सीजन को देखते हुए. अपर सचिव श्री मीणा ने कहा कि बाढ़ नियंत्रण और पूर्व चेतावनी व्यवस्था के लिए यह फिजिकल मॉडलिंग सेंटर मील का पत्थर साबित होगा. उन्होंने बाढ़ पूर्व तैयारियों की समीक्षा के क्रम में सभी विभागीय कार्यों की नियमित निगरानी और गुणवत्ता नियंत्रण को सर्वोच्च प्राथमिकता देने की बात कही. इस अवसर पर जल संसाधन विभाग, वीरपुर के मुख्य अभियंता वरुण कुमार, अधीक्षण अभियंता संजय कुमार, कार्यपालक अभियंता बबन पांडेय, सहायक अभियंता पवन कुमार सहित अन्य तकनीकी पदाधिकारी उपस्थित थे.
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