प्रकाश कुमार, समस्तीपुर : शिक्षक समय पर विद्यालय पहुंच शैक्षणिक वातावरण सुनिश्चित कर सके इसके लिए शिक्षा विभाग ने शिक्षकों की उपस्थिति ई-शिक्षा कोष पर दर्ज करने की व्यवस्था की है, लेकिन शिक्षकों ने यहां भी खेला शुरू कर दिये हैं. जिले में बिना स्कूल आये ई-शिक्षा कोष से बन रही हाजिरी की जानकारी मिलने के बाद शिक्षा विभाग ने इसकी जांच की तो पता चला कि अब इसमें भी छेड़छाड़ शुरू हो गई है. समस्तीपुर प्रखंड के प्राथमिक विद्यालय जितवारपुर यादव टोल की शिक्षिका सोनल कुमारी द्वारा ई-शिक्षा कोष पर बनायी गयी उपस्थिति की गहनता से जांच की गयी तो सच देखकर बीईओ भी भौंचक रह गये. बीईओ रितेश कुमार ने मामले को गंभीरतापूर्वक लेते हुए छह बिन्दुओं पर स्पष्टीकरण तलब किया है. साथ ही कहा गया है कि बिंदुवार साक्ष्य के साथ संतोषजनक स्पष्टीकरण नहीं प्राप्त होने की स्थिति में निलंबन के लिए विभाग को प्रतिवेदित भी किया जायेगा.
फर्जी तरीके से दर्ज कर रही थी उपस्थिति
ई-शिक्षा कोष पर बनाये गये उपस्थिति की जांच की गयी, तो पता चला कि शिक्षिका द्वारा उपस्थिति दर्ज करने में मनमाना रवैया अपनाया जा रहा है. विभिन्न तिथियों के उपस्थिति के अवलोकन से स्पष्ट हो रहा था कि शिक्षिका अधिकांशतः विद्यालय के बाहर ही फर्जी तरीके से अपनी उपस्थिति दर्ज कर रही थी. 12 मार्च को शिक्षिका द्वारा मार्क ऑन ड्यूटी में आवंटित विद्यालय में उपस्थिति की दूरी 14114.06 मीटर है. उक्त तिथि को आउट नहीं किया. शिक्षिका द्वारा केवल फेस का फोटो अपलोड किया गया. 17 मार्च को मार्क ऑन ड्यूटी में आवंटित विद्यालय में उपस्थिति की दूरी 445.44 मीटर एवं आउट की दूरी 2188.93 मीटर है. इन में शिक्षिका का फोटो विद्यालय पर का दिख रहा है, जहां पर मार्क ऑन ड्यूटी में थी, एवं आउट का फोटो केवल चेहरे का.– ई-शिक्षाकोष पर छेड़छाड़ कर मनमाने ढंग से उपस्थिति दर्ज करने से जुड़ा है मामला
स्पष्ट है कि शिक्षिका विद्यालय से बाहर दूरी पर उपस्थिति दर्ज किया है. इसी तरह 18 मार्च को भी शिक्षिका द्वारा 17 मार्च की तरह ही उपस्थिति की दूरी 445.43 मीटर एवं आउट की दूरी 2209.98 मीटर है. इन का फोटो आवंटित विद्यालय का एवं आउट का फोटो विद्यालय से बाहर का अपलोड है. 19 मार्च को आवंटित विद्यालय में उपस्थिति की दूरी 524.44 मीटर है, जबकि आउट शिक्षिका ने नहीं किया. विद्यालय में उपस्थिति का फोटो विद्यालय पर का नहीं है. 21 मार्च को शिक्षिका आवंटित विद्यालय में उपस्थिति 27987.00 मीटर एवं आउट की उपस्थिति 2081.51 मीटर से दर्ज किया है. शिक्षिका का फोटो विद्यालय के बाहर का ही है. वही 24 मार्च को आवंटित विद्यालय में उपस्थिति की दूरी 1631.48 मीटर एवं आउट की उपस्थिति 2166.41 मीटर दर्ज किया गया है. फोटो किसी भी विद्यालय पर का नहीं है. विद्यालय के बाहर का है.
डीईओ ने गठित किया जांच दल
जिले के सभी सरकारी विद्यालयों में कार्यरत सभी प्रधानाध्यापक व शिक्षकों को ई-शिक्षा कोष एप पर उपस्थिति बनानी है. लेकिन विभागीय दिशा-निर्देश को ताक पर रखकर कुछ शिक्षक कंप्यूटर तकनीक का सहारा लेकर उपस्थिति बना रहे है. माॅनीटरिंग के दौरान शिक्षा विभाग ने इस खेल का पर्दाफाश करते हुए शिक्षकों को सख्त हिदायत दी है. डीईओ कामेश्वर प्रसाद गुप्ता ने बताया कि विभागीय निदेशानुसार सभी शिक्षकों का ई शिक्षा कोष पर उपस्थिति दर्ज किया जा है. अधिकांश शिक्षकों द्वारा उपस्थिति दर्ज भी किया जा रहा है. लेकिन अन्य जिला में यह मामला प्रकाश में आया है कि शिक्षकों के द्वारा एडिटिंग कर फोटो लगाकर उपस्थिति दर्ज किया जा रहा है. मामले को गंभीरतापूर्वक लेते हुए सभी प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को निर्देश दिया गया है कि अपने-अपने प्रखंड के ई शिक्षाकोष पर रैंडमली जांच कर यह आश्वस्त हो ले कि शिक्षकों द्वारा उपस्थिति दर्ज की जा रही है और फोटो उन्हीं का हो, साथ ही फोटो को गौर से देखने पर यह स्पष्ट हो जाता है कि इसमें छेड़छाड़ किया गया है अथवा नहीं. जिलास्तर पर जिला कार्यक्रम पदाधिकारी एसएसए की अध्यक्षता में एक कमेटी का गठन किया गया है, जिसमें गुणवत्ता समन्वयक अर्जुन कुमार एवं एमआईएस प्रभारी सुजीत कुमार इसके सदस्य होंगे. इनका दायित्व होगा कि सप्ताह में एक दिन का सभी प्रखंड के 5-5 शिक्षकों की उपस्थिति ई शिक्षाकोष पर रैंडमली जांच करेंगे एवं उपरोक्त कमियों को देखेंगे. यदि किसी शिक्षक की उपस्थिति में त्रुटि-कमी पायी जाती है तो उस शिक्षक पर कठोर कार्रवाई के लिए प्रस्ताव देंगे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है