समस्तीपुर : कोर्ट के आदेश पर भी दलित महिला को भरण पोषण की राशि नहीं मिल रही है. दलित महिला भमरुपुर के मुफ्फसिल विमल देवी भरण पोषण के लिये चक्कर लगा रही है. व्यवहार न्यायालय के तत्कालीन प्रथम श्रेणी के न्यायिक दंडाधिकारी ने 18 जनवरी 1996 को भरण पोषण मुकदमा 87/1994 में उसका पति मुकेश कुमार श्रीवास्तव संधि पत्र पर भरण पोषण के लिये 500 रुपये प्रतिमाह और उसके वेतन वृद्धि की स्थिति में 30 प्रतिशत कुल तनख्वाह (होम टेक सैलरी ) का हकदार होगी. जो राशि काटकर विमल देवी को मिला करेगा. अक्टूबर 2023 को महिला को अंतिम बार 13 हजार रुपये दिया गया. उसके बाद से उसका भुगतान बंद है. पीड़ित ने अधिवक्ता के जरिये 19 जून 2024 को वकालतन नोटिस भी तत्कालीन सिविल सर्जन, प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र जितवारपुर सहित सभी संबंधित को भेजवायी थी. उसके बाद अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र छतौना में कार्यरत उसके पति मुकेश कुमार का जितवारपुर पीएचसी प्रभारी ने 6 जुलाई 2024 को वेतन रोकने का आदेश दिया. महिला का आरोप है कि विभाग के द्वारा उसे फरवरी तक वेतन दे दिया गया है, लेकिन उसके भरण पोषण की राशि नहीं आज तक नहीं दी गयी है. इस बाबत पूछे जाने पर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ. रवि कुमार गुप्ता ने बताया कि दो महीने में उसके सारे बकाये का भुगतान कराकर नियमित भरण पोषण की राशि दिलायी जायेगी.
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