बाल विवाह मुक्त अभियान के तहत विभिन्न स्थानों पर चलाया गया जागरूकता अभियान सहरसा महिला एवं बाल विकास निगम व जिला प्रशासन द्वारा अक्षय तृतीया के अवसर पर बुधवार को बाल विवाह मुक्त अभियान के तहत विभिन्न स्थानों उग्रतारा मंदिर महिषी, मंडन मिश्र धाम महिषी, गौरी स्थान सत्तरकटैया एवं बाबा शंकर मंदिर बिहरा के साथ अन्य प्रखंड के मंदिरों, आंगनबाड़ी केंद्रों में जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया गया. जिसमें बाल विवाह के दुष्परिणाम, स्वास्थ्य पर पड़ने वाले गंभीर प्रभाव एवं इसके कानूनी प्रावधान के बारे में जानकारी दी. साथ ही मंदिर प्रबंधक द्वारा किये गये विवाह के पंजीकरण रसीद की जांच की. अक्षय तृतीया के मौके पर बाल विवाह की घटनाओं को रोकने के लिए यह जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया गया. इस मौके पर जिला प्रोग्राम पदाधिकारी सह नोडल पदाधिकारी कुमारी पुष्पा ने बताया कि बाल विवाह निषेध अधिनियम के तहत किसी भी लड़की का विवाह अठारह वर्ष से पहले एवं लडके का विवाह 21 वर्ष से पहले करना कानूनन अपराध है. जिला परियोजना प्रबंधक काजल चौरसिया ने बताया कि बाल विवाह एक सामाजिक कुरीति है. जिसे समाप्त करने के लिए हम सभी को मिलजुल कर प्रयास करने की आवश्यकता है. साथ ही सभी पुरोहित एवं धर्म गुरुओं व आमजन से अपील किया कि बाल विवाह की सूचना 1098 चाइल्ड हेल्पलाइन एवं 181 महिला हेल्पलाइन नंबर पर या संबंधित प्रखंड विकास पदाधिकारी एवं अनुमंडल पदाधिकारी को देना है. जिला प्रशासन के तहत सभी मुख्य मंदिरों, चौक चौराहों पर बाल विवाह निषेध के लिए बैनर फ्लैक्स लगाकर लोगों को बाल विवाह के रोकथाम के लिए जागरूक किया गया. जिला प्रोग्राम पदाधिकारी आईसीडीएस एवं जिला परियोजना प्रबंधक महिला एवं बाल विकास निगम द्वारा कुछ मंदिरों, क्षेत्रों का भ्रमण किया गया. मौके पर वित्तीय साक्षरता विशेषज्ञ, लेखा ऋचा मिश्रा, काउंसलर दीपशिखा, जेंडलेखा सहायक, महिला पर्यवेक्षिका, श्रद्धालु, पुजारी, आम जनता मौजूद थे.
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